पास्का जागरण: लोयला मैदान में जुटे हजारों विश्वासी, कार्डिनल बोले हृदय में आशा के द्वार खोलें मसीही

रांची: प्रभु यीशु मसीह मृतकों में से जी उठे हैं, जैसा उन्होंने कहा था़ हम अपने हृदयों में आशा के द्वार खोल दे़ं प्रभु के परोपकारी क्रियाकलाप और उनके मुक्तिदायी वचन हमारा हौसला बुलंद करते रहें, ताकि हम अनंत पास्का की ओर विश्वास और भरोसे के साथ आगे बढ़ते जायें. यह संदेश कार्डिनल तेलेस्फोर पी […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | April 16, 2017 7:25 AM
रांची: प्रभु यीशु मसीह मृतकों में से जी उठे हैं, जैसा उन्होंने कहा था़ हम अपने हृदयों में आशा के द्वार खोल दे़ं प्रभु के परोपकारी क्रियाकलाप और उनके मुक्तिदायी वचन हमारा हौसला बुलंद करते रहें, ताकि हम अनंत पास्का की ओर विश्वास और भरोसे के साथ आगे बढ़ते जायें. यह संदेश कार्डिनल तेलेस्फोर पी टोप्पो ने लोयला मैदान में आयोजित पास्का जागरण के मिस्सा समारोह में कही़.
उत्तरदायित्व का पालन ईमानदारी से करें : उन्होंने कहा कि लाल समुद्र को प्राचीन इस्राएली जाति द्वारा सुरक्षित पार करने की तुलना प्रभु यीशु मसीह की मृत्यु और मृतकों में से उनके पुनरुत्थान से की गयी है़ इसी प्रकार मसीही विश्वासी बपतिस्मा संस्कार में पाप के लिए मर कर प्रभु यीशु मसीह में ही जी उठते और कृपा का जीवन हासिल करते है़ं हमें याद करना जरूरी है कि बपतिस्मा संस्कार ग्रहण करने और अन्य संस्कार ग्रहण करने मात्र से हमें तब तक मुक्ति नहीं मिल सकती, जब तक हम उन संस्कारों में निहित उत्तरदायित्व का ईमानदारी से पालन न करे़ं एक ही बपतिस्मा को ग्रहण करने और एक ही आध्यात्मिक भोजन व पानी से तृप्त होने के बावजूद प्राचीन इस्राएली जाति के अधिकांश लोग ईश्वर के कृपापात्र नहीं बन सके़ इसलिए ईश्वर की ओर मुड़ने की प्रक्रिया का कोई अंत नहीं है़.
सुसमाचार लेखकों की गवाही में है एकरूपता : प्रभु यीशु के पुनरुत्थान की घटना के वर्णन में भौगोलिक, सामाजिक और ऐतिहासिक तौर पर एक दूसरे से दूर रहे सुसमाचार लेखकों की इस गवाही में एकरूपता है कि प्रभु यीशु सचमुच जी उठे है़ं सच तो यह है कि प्रभु यीशु के पुनरुत्थान के गहरे अनुभव ने ही विश्वासी समुदाय का गठन किया, जो आगे चल कर कलीसिया कहलायी़ मसीही आशा तभी पूरी होती है, जब हमें पवित्र आत्मा का वरदान मिलता है़ प्रेरित पौलुस ने कहा है- आशा व्यर्थ नहीं होती, क्योंकि ईश्वर ने हमें पवित्र आत्मा प्रदान किया है़ वह तो हममें नवजीवन का संचार करता है, जिसमें विध्न-बाधाओं के रहते हुए भी प्रभु यीशु के प्रेम का भरोसा मौजूद है़ वह नवजीवन पाप, मृत्यु और भय पर विजयी पुनर्जीवित यीशु मसीह की हमें गारंटी देता है़

Next Article

Exit mobile version