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षड्यंत्रों पर विजय पाकर फिर से राज्य की स्टेयरिंग अपने हाथ में ली : हेमंत सोरेन

प्रोजेक्ट भवन से गुरुवार रात अपने आवास लौटते हुए मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन खुद ही कार ड्राइव कर रहे थे. बगल में उनकी पत्नी कल्पना सोरेन बैठी थीं. उसी दौरान कल्पना ने मुख्यमंत्री का जनता के नाम एक वीडियो संदेश अपने मोबाइल से रिकार्ड किया.

By Prabhat Khabar News Desk | July 6, 2024 12:38 AM
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विशेष संवाददाता (रांची).

प्रोजेक्ट भवन से गुरुवार रात अपने आवास लौटते हुए मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन खुद ही कार ड्राइव कर रहे थे. बगल में उनकी पत्नी कल्पना सोरेन बैठी थीं. उसी दौरान कल्पना ने मुख्यमंत्री का जनता के नाम एक वीडियो संदेश अपने मोबाइल से रिकार्ड किया. इसमें श्री सोरेन कह रहे हैं : अंततोगत्वा सारे षड्यंत्रों पर विजय पाकर हमने पुन: राज्य के विकास की स्टेयरिंग अपने हाथ में ली है. कल्पना सोरेन ने शुक्रवार सुबह 7:49 बजे अपने आधिकारिक ‘एक्स’ हैंडल पर करीब 11 मिनट का यह वीडियो संदेश पोस्ट किया है. उनके इस वीडियो को अब तक 1.5 लाख से ज्यादा बार देखा जा चुका है. मुख्यमंत्री ने कहा कि अपने राज्य, यहां के आदिवासी-मूलवासी, दलित, पिछड़े, अल्पसंख्यकों, गरीब, किसान, महिलाएं, युवाओं, जल-जंगल और जमीन को लेकर हमने बहुत कुछ सोच रखा है. झारखंड को लोग सोने की चिड़िया कहते हैं, लेकिन दुख होता है कि यहां के लोग दो वक्त की रोटी के लिए संघर्ष करते हैं, पलायन करते हैं. इतने वर्षों तक चाहे किसी की भी सरकार रही हो, राज्य के प्रति जो संवेदनशीलता होनी चाहिए थी, वह नहीं रही. श्री सोरेन ने कहा : वर्ष 2019 में राज्य की जनता ने हमें राज्य को दिशा देने का जिम्मा दिया. तुरंत कोरोना महामारी आ गयी. उस वक्त देश और राज्य की क्या स्थिति थी, सभी को पता है. दवा व डॉक्टरों की कमी और सीमित संसाधनों के बीच काम किया. हमारे दो-दो मंत्री शहीद हो गये. क्योंकि वे इस संकट में भी सड़क पर उतरकर काम करते रहे.

मैं भी राजनीति का शिकार हुआ :

हेमंत ने कहा : सरकार चलाने के दौरान कई अवरोध आये. सरकार गिराना, विधायकों को खरीदना, एक अजीब सी राजनीति चली. इसका शिकार मैं भी हुआ. इसके कारण मुझे भी पांच महीने जेल में रहना पड़ा. मगर जो ताकत राज्य की जनता ने मुझे 2019 में दी थी, उसके दम पर मैंने सरकार को खरोंच भी नहीं आने दी. चंपाई सोरेन जी को सत्ता सौंप दी और मैं जेल चला गया. पांच महीने बाद न्यायालय के आदेश के बाद मैं बाहर आया, फिर से राज्य को दिशा देने और 2019 में जो संकल्प लिया था, उसे पूरा करने.

राज्य के हर व्यक्ति के लिए तेजी से काम करेंगे :

हेमंत ने कहा : राज्य में बहुत सी चुनौतियां हैं, बहुत से विषयों पर काम करने की जरूरत है. केंद्र सरकार की नीतियों के कारण रोजगार दिन-ब-दिन घट रहे हैं. छोटे और मंझोले उद्योग बंद हो रहे हैं, देश छोड़ कर जा रहे हैं. हमारे नौजवान भटकने को मजबूर हैं. हमारे कार्यकाल में, आपको जरूर एहसास होगा कि वर्तमान सरकार की सोच और उद्देश्य क्या है. किस रास्ते आगे बढ़ेगी. हमारा मूल वादा झारखंड के आदिवासी-मूलिवासियों के प्रति प्राथमिकता है.

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