रांची : झारखंड लोक सेवा आयोग (जेपीएससी) ने सातवीं, आठवीं व नौवीं सिविल सेवा परीक्षा से संबंधित विज्ञापन रद्द कर दिया है. तीन सिविल सेवा परीक्षा के लिए एक मार्च 2020 से अॉनलाइन फॉर्म भरे जाने थे. राज्य सरकार के कार्मिक विभाग द्वारा परीक्षा के लिए भेजी गयी अधियाचना 72 घंटे के अंदर ही वापस ले ली गयी है. दूसरी तरफ वर्ष 2016 से चल रही छठी जेपीएससी की पूरी प्रक्रिया भी सरकार रद्द कर सकती है. सरकार ने महाधिवक्ता ने इस पर सलाह मांगी थी. महाधिवक्ता ने कहा है कि सरकार चाहे, तो छठी जेपीएससी की पूरी प्रक्रिया रद्द की जा सकती है.
आरक्षण, उम्र सीमा सहित परीक्षा शुल्क व रिक्तियों पर किया जायेगा पुनर्विचार
सरकार के निर्देश के बाद शनिवार को अवकाश रहने के वावजूद आयोग कार्यालय खोल कर उक्त परीक्षा से संबंधित विज्ञापन (01/2020) रद्द करने की अधिसूचना जारी की गयी. आयोग ने कुल 267 पदों के लिए योग्य उम्मीदवारों से एक मार्च 2020 से 31 मार्च 2020 तक अॉनलाइन आवेदन मांगा था.
कार्मिक विभाग की अोर से आयोग को कहा गया है कि सिविल सेवा नियमावली से संबंधित सरकार के स्तर पर एक उच्चस्तरीय कमेटी का गठन किया गया है. यह कमेटी विभिन्न पहलुअों की समीक्षा करने के बाद अपनी रिपोर्ट सरकार को सौंपेगी.
बताया जाता है कि उच्चस्तरीय कमेटी सिविल सेवा परीक्षा के लिए आरक्षण, उम्रसीमा, परीक्षा शुल्क तथा रिक्तियों पर पुनर्विचार करने के बाद नये सिरे से अधियाचना अायोग को भेजेगी. सरकार के इस निर्णय के बाद एक बार फिर आयोग द्वारा जारी परीक्षा कार्यक्रम फेल कर गया. आयोग ने सातवीं, आठवीं अौर नौवीं सिविल सेवा प्रारंभिक परीक्षा एक साथ लेने के लिए पांच अप्रैल 2020 को तिथि निर्धारित की थी.
जबकि मुख्य परीक्षा की तिथि चार से सात जून 2020 तथा साक्षात्कार के लिए चार से 14 अगस्त 2020 की तिथि निर्धारित की थी. कुल 267 पदों में उपसमाहर्ता के 82 पद, सहायक नगर आयुक्त/कार्यपालक पदाधिकारी के 65 पद, झारखंड शिक्षा सेवा के 39 पद, नियोजन पदाधिकारी के सात पद, पुलिस उपाधीक्षक के 40 पद, जिला समादेष्टा के 16 पद अौर सहायक योजना पदाधिकारी के 18 पद शामिल हैं.
आयोग द्वारा जारी विज्ञापन में इस बार प्रारंभिक परीक्षा के आधार पर रिक्ति की संख्या के 15 गुना उम्मीदवारों को मुख्य परीक्षा के लिए शार्टलिस्ट करने की निर्देश जारी किया गया था, जबकि इससे पूर्व आयोग सिविल सेवा परीक्षा में प्रारंभिक परीक्षा के आधार पर कोटिवार रिक्तियों की संख्या के 15 गुना उम्मीदवारों का चयन किया गया था.
कई सेवाअों में उम्रसीमा की छूट तथा परीक्षा शुल्क सामान्य के लिए 600 रुपये अौर एसटी/एससी के लिए 150 रुपये लेने की बात कही गयी थी. जबकि झामुमो ने घोषणा पत्र में परीक्षा शुल्क 100 रुपये कहने की बात कही है.