अधिवक्ता राजीव कुमार की गिरफ्तारी का मामला, Jharkhand High Court में हैबियस कॉर्पस याचिका पर सुनवाई आज
Jharkhand News : जस्टिस एस चंद्रशेखर व जस्टिस रत्नाकर भेंगरा की खंडपीठ में हैबियस कॉर्पस याचिका पर शीघ्र सुनवाई के लिए अधिवक्ता ऋतु कुमार द्वारा विशेष मेंशन किया गया. बाद में चीफ जस्टिस डॉ रवि रंजन व जस्टिस सुजीत नारायण प्रसाद की खंडपीठ में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से विशेष मेंशन किया गया.
Jharkhand News : झारखंड हाईकोर्ट के जस्टिस एस चंद्रशेखर व जस्टिस रत्नाकर भेंगरा की खंडपीठ में हैबियस कॉर्पस याचिका पर शीघ्र सुनवाई के लिए अधिवक्ता ऋतु कुमार द्वारा विशेष मेंशन किया गया. बाद में चीफ जस्टिस डॉ रवि रंजन व जस्टिस सुजीत नारायण प्रसाद की खंडपीठ में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से विशेष मेंशन किया गया. खंडपीठ ने शीघ्र सुनवाई का आग्रह स्वीकार करते हुए मामले की सुनवाई के लिए दो अगस्त यानी मंगलवार की सुबह 10:30 बजे का समय निर्धारित किया.
राजीव कुमार की कोलकाता में गिरफ्तारी का विरोध
झारखंड हाईकोर्ट के जस्टिस एस चंद्रशेखर व जस्टिस रत्नाकर भेंगरा की खंडपीठ ने मौखिक रूप से कहा कि जब सभी अदालतों में अधिवक्ता शामिल नहीं हो रहे हैं, पैरवी नहीं कर रहे हैं, तो वैसी स्थिति में एक विशेष याचिका पर सुनवाई कैसे हो सकती है. पहले काम नहीं करने का निर्णय वापस लिया जाना चाहिए. बाद में चीफ जस्टिस डॉ रवि रंजन व जस्टिस सुजीत नारायण प्रसाद की खंडपीठ में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से विशेष मेंशन किया गया. खंडपीठ ने शीघ्र सुनवाई का आग्रह स्वीकार करते हुए मामले की सुनवाई के लिए दो अगस्त यानी मंगलवार की सुबह 10:30 बजे का समय निर्धारित किया. आपको बता दें कि अधिवक्ता राजीव कुमार की कोलकाता में गिरफ्तारी के विरोध में झारखंड हाइकोर्ट के अधिवक्ता सोमवार को अदालत में सुनवाई में नहीं गये. हालांकि, बाद में चीफ जस्टिस द्वारा मंगलवार को सुनवाई की तिथि तय की गयी, जिसके बाद अधिवक्ताओं ने काम पर लौटने का निर्णय लिया.
एडवोकेट एसोसिएशन ने बुलायी थी आपात आमसभा
इससे पहले दिन के वक्त राजीव कुमार की गिरफ्तारी की सूचना के बाद एडवोकेट एसोसिएशन ने आपात आमसभा बुलायी. एसोसिएशन की अध्यक्ष ऋतु कुमार की अध्यक्षता में हुई आमसभा में आक्रोशित अधिवक्ताओं ने हाइकोर्ट में अदालती कार्यों में शामिल नहीं होने का निर्णय लिया. कहा कि जब तक अधिवक्ता राजीव कुमार को सामने नहीं लाया जाता है, तब तक अदालती कार्य नहीं करेंगे.
रिपोर्ट : राणा प्रताप, रांची