रांची : अंजुमन इस्लामिया के अंदर चल रहा विवाद रविवार को खुलकर सामने आ गया. अस्पताल में ओपीडी के ले-आउट को लेकर आयोजित कार्यक्रम के दौरान ही अंजुमन के अध्यक्ष मोख्तार अहमद और सचिव डॉ तारिक हुसैन आपस में भिड़ गये. विवाद बढ़ने पर कार्यक्रम को रद्द करना पड़ा. दरअसल, इस कार्यक्रम में भाजपा सांसद संजय सेठ को आमंत्रित किया गया था. सांसद श्री सेठ इस कार्यक्रम के दौरान अपने फंड से ओपीडी के लिए राशि देनेवाले थे. संस्था के अध्यक्ष की ओर से सांसद को आमंत्रण दिया गया था. सचिव ने इसका खुलकर विरोध किया, जिसकी वजह से दोनों के बीच कार्यक्रम के दौरान ही बहस शुरू हो गयी. हालांकि जब सांसद को विवाद की सूचना मिली, तो उन्होंने अपना कार्यक्रम रद्द कर दिया.
इस मामले को लेकर अंजुमन के अध्यक्ष ने क्या कहा?
हम अस्पताल की बेहतरी के लिए काम कर रहे थे. सचिव गलत आरोप लगा रहे हैं कि यह काम चोरी-छिपे हो रहा है, जबकि हमारी ओर से इसकी सूचना सभी को दे दी गयी थी. बावजूद इस काम में जान-बूझकर अड़ंगा लगाया जा रहा है. मुझ पर भाजपाई होने का आरोप लगा है, लेकिन इस अस्पताल के विकास के लिए हमें किसी के भी पास जाना पड़े, तो उससे हमें गुरेज नहीं है. अध्यक्ष ने आरोप लगाया कि सचिव कमेटी पर तानाशाही करना चाह रहे हैं. अध्यक्ष होने के नाते हमारी जिम्मेवारी बनती है कि हम इसके विकास के लिए निर्णय ले सकते है. उधर, सचिव डॉ हुसैन ने आरोप लगाया कि अंजुमन के अध्यक्ष बिना किसी को सूचना दिये यह काम करा रहे थे, जिसका हमलोगों ने विरोध किया. हमारा विरोध किसी पार्टी विशेष को लेकर नहीं था. जब कोई भी कार्य कराया जा रहा है, तो इसकी सूचना सभी लोगों के पास होनी चाहिए. अंजुमन के पैसे की खुली लूट नहीं होने दी जायेगी.