सावधान! नाबालिग के हाथों में है ई-रिक्शा की स्टेयरिंग
नाबालिग के ई-रिक्शा चलाने के कारण दुर्घटना की आशंका बनी रहती है. चौक-चौराहों पर तैनात ट्रैफिक पुलिस के जवान इन पर कार्रवाई नहीं करते हैं.
रांची. राजधानी में ई-रिक्शा की बढ़ती संख्या पूरे शहर के लिए सिरदर्द बन गयी है. प्रमुख सड़क हो या गली मोहल्ले, ये हर जगह फर्राटा भर रहे हैं. वहीं, नाबालिग और अनट्रेंड युवाओं के ई-रिक्शा चलाने के कारण अक्सर जाम और दुर्घटना की आशंका बनी रहती है. ई-रिक्शा की स्टेयरिंग पकड़ कर नाबालिग खुद के साथ-साथ दूसरे की जान से भी खिलवाड़ कर रहे हैं. इनके पास लाइसेंस भी नहीं होता है. लेकिन, चौक-चौराहों पर तैनात ट्रैफिक पुलिस इन पर कार्रवाई नहीं करती है.
सड़कों पर ई-रिक्शा की मनमानी ऐसी है कि जहां मन करता है ये रोक कर पैसेंजर चढ़ाते और उतारते हैं. नाबालिग चालक ई-रिक्शा को तेज रफ्तार में दौड़ाते हैं और बेतरतीब ढंग से रोड पर भी लगा देते हैं. इससे अक्सर जाम लगता है. इधर, शहर में बिना परमिट के हजारों ऑटो का संचालन हो रहा है. कई ऑटो तो पूरी तरह से कबाड़ हो गये हैं. लेकिन, ऐसे ऑटो पर कार्रवाई नहीं की जा रही है.अधिकतर ऑटो व ई-रिक्शा का नंबर पढ़ना मुश्किल
शहर की सड़कों पर अवैध रूप से 10 हजार से अधिक ऑटो व ई-रिक्शा का संचालन किया जा रहा है. लेकिन, इनमें से कई वाहनों का नंबर पढ़ना भी मुश्किल है. किसी का पेंट उखड़ गया है, तो किसी ने जान-बूझ कर अपने नंबर प्लेट से एक नंबर को मिटा दिया है. ताकि, ट्रैफिक नियमों का उल्लंघन करने या किसी प्रकार की दुर्घटना होने पर सीसीटीवी से उक्त ऑटो को ट्रेस न किया जा सके. इसके अलावा शहर में ऐसे ऑटो की भी संख्या हजारों में होगी, जिनका फिटनेस फेल हो चुका है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है