बाबूलाल मरांडी ने फिर किया सोरेन सरकार पर प्रहार, कहा- हेमंत सरकार को हटाना है, सुशासन लाना है
बाबूलाल ने कहा कि झारखंड में भाजपा की सुशासन वाली सरकार बनानी है. कहा कि झारखंड में चोरी, लूट, हत्या की घटना लगातार हो रही है. बहु-बेटियां भी सुरक्षित नहीं हैं. पुलिस सुरक्षा व्यवस्था बनाने की बजाय वसूली में लगी हुई है. खनिज संपदा की लूट हो रही है. अपील करने आये है कि झारखंड को अपराध मुक्त बनाना है.
Jharkhand News: भाजपा की संकल्प यात्रा शनिवार को हजारीबाग पहुंची. यहां जिला स्कूल मैदान में आयोजित जनसभा संबोधित करते हुए कहा भाजपा प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी ने कहा कि झारखंड से हेमंत सोरेन की सरकार को हटाना है. चार वर्षों में सरकार ने चुनावी घोषणा पत्र में किये गये वादे को पूरा नही किया. भाजपा कार्यकर्ताओं में नयी ऊर्जा की संचार संकल्प यात्रा से हो रहा है. जेएमएम कांग्रेस सरकार को हटाने के लिए संकल्प यात्रा लेकर निकले हैं. हेमंत सरकार ने जनता को दिग्भ्रमित कर सत्ता हासिल किया है.
बाबूलाल ने कहा कि झारखंड में भाजपा की सुशासन वाली सरकार बनानी है. कहा कि झारखंड में चोरी, लूट, हत्या की घटना लगातार हो रही है. बहु-बेटियां भी सुरक्षित नहीं हैं. पुलिस सुरक्षा व्यवस्था बनाने की बजाय वसूली में लगी हुई है. खनिज संपदा की लूट हो रही है. यह अपील करने आये है कि झारखंड को अपराध मुक्त बनाना है. सभा को सांसद जयंत सिन्हा ने भी संबोधित किया. उन्होंने कहा कि हेमंत हटाओ, झारखंड बचाओ का संकल्प कार्यकर्ता लें. जेएमएम-कांग्रेस की सबसे विफल सरकार इस राज्य में है.
झारखंड में भ्रष्टाचार चरम पर है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार झारखंड में वंदे भारत और इंटरसिटी जैसी ट्रेन चला रही है. भारत माला परियोजना के तहत सुपर हाइ-वे बनाया जा रहा है. अब जनता को बनारस से कोलकाता का सफर करने में सात घंटे का समय लगेगा. भाजपा झारखंड में ऐसी सरकार बनाना चाहती है, जहां सिर्फ विकास ही विकास हो. सभा को विधायक जेपी पटेल, मनीष जायसवाल, पूर्व विधायक मनोज यादव ने भी संबोधित किया. सभा में कोडरमा विधायक नीरा यादव, पूर्व सांसद यदुनाथ पांडेय, राकेश प्रसाद, सुदेश चंद्रवंशी, अशोक यादव समेत कई नेता शामिल थे.
जेल जाने के डर से परेशान हेमंत सोरेन का डायरेक्ट आइपीएस पर से कम हुआ भरोसा
भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी ने सोशल मीडिया एक्स में पोस्ट कर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन पर निशाना साधा है. कहा कि लगता है जेल जाने के डर से परेशान मुख्यमंत्री को अब राज्य के डायरेक्ट आइपीएस अफसरों पर भरोसा कम हो गया है. यही वजह हो सकता है कि महत्वपूर्ण जिलों में डायरेक्ट अफसरों को दरकिनार कर राज्य सेवा से प्रमोटेड आइपीएस अफसरों की पोस्टिंग की गयी है. सरकार इतनी बेचैनी और हड़बड़ी में है कि दो साल की अनिवार्य तैनाती के नियम को भी तार-तार कर दिया गया है.
सत्ता का टूल न बने अधिकारी
एक एक अन्य पोस्ट में श्री मरांडी ने कहा कि मुझे उम्मीद नहीं है कि वर्तमान परिस्थितियों में अब कोई भी अधिकारी सत्ता का टूल बन कर सत्ता के विरोधियों पर फर्जी केस-मुकदमा करने का खतरा मोल लेकर अपनी नौकरी सांसत में डालेंगे. सत्ता का टूल बने अधिकारियों के गलत कार्यों के चलते ही आज हाइकोर्ट के आदेश से कई मामलों की जांच सीबीआइ/इडी कर रही है. उन्होंने उम्मीद जतायी कि अधिकारी बंगाल के उदाहरण से सबक लेंगे, जहां सत्ता का टूल बन कर कई अधिकारी फंस गये हैं. राज्य के प्रमोटेड अफसर भी आगे सत्ता के इशारे पर गैर कानूनी काम करने की गलती कर खुद के लिए संकट आमंत्रित नहीं करेंगे.
‘बेहतर होगा हेमंत गलती कबूल कर लें’
बाबूलाल ने कहा कि हेमंत सोरेन को देर से ही सही, लेकिन अब समझ में आ गया है कि गरीब आदिवासियों की जमीन हड़पने के जुर्म में अब उनका जेल जाना तय है. इसलिए डर के मारे इडी के बुलावे पर नहीं जा रहे हैं. बाबूलाल ने सलाह देते हुए कहा कि हेमंत इडी के सामने जायें, अपनी गलती कबूल कर वादा माफ गवाह बनने की गुहार लगायें.
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