Loading election data...

रांची में खादी मेले का सीएम हेमंत सोरेन ने किया उद्घाटन, स्वदेशी उत्पादों को बढ़ावा देने पर दिया जोर

हेमंत सोरेन ने कहा कि जमाना चाहे जितना आगे बढ़ जाए, अपने राज्य झारखंड और अपने देश भारत में आज भी ग्रामीण तथा स्वदेशी व्यवस्था की अहमियत कायम है. देहाती ग्रामोद्योग को आगे बढ़ाना है. इससे जुड़ी चुनौतियों से हमें निबटना है. यह काम सिर्फ सरकार नहीं कर सकती.

By Mithilesh Jha | January 7, 2024 8:26 PM
an image

मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने रविवार (सात जनवरी) को झारखंड के सबसे बड़े मेले का उद्घाटन किया. राजधानी रांची के ऐतिहासिक मोरहाबादी मैदान में ‘राष्ट्रीय खादी एवं सरस महोत्सव 2023-24’ का उद्घाटन करने के बाद मुख्यमंत्री ने कहा कि खादी सिर्फ पहनावा नहीं है. यह हमारी सभ्यता, संस्कृति, परंपरा और स्वदेशी होने का परिचायक है. उन्होंने कहा कि हम सभी इस बात से भली-भांति वाकिफ हैं कि खादी के साथ राष्ट्रपिता महात्मा गांधी का नाम जुड़ा है. बापू ने देश-दुनिया में खादी को पहचान दिलाई. हमें भी खादी से जुड़ना चाहिए. तभी हम अपने पारंपरिक स्वदेशी व्यवस्था को और मजबूत कर पाएंगे. मुख्यमंत्री ने कहा कि आज तकनीक का जमाना है. भौतिकतावादी जमाना है. हम मशीनों के साथ जी रहे हैं. बावजूद इसके हमने अपनी सभ्यता, परंपरा और संस्कृति को नहीं छोड़ा. खादी एवं सरस महोत्सव इसी कड़ी का हिस्सा है.

भारत में ग्रामीण व स्वदेशी व्यवस्था की अहमियत कायम

मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा कि जमाना चाहे जितना आगे बढ़ जाए, अपने राज्य झारखंड और अपने देश भारत में आज भी ग्रामीण तथा स्वदेशी व्यवस्था की अहमियत कायम है. देहाती ग्रामोद्योग को आगे बढ़ाना है. इससे जुड़ी चुनौतियों से हमें निबटना है. यह काम सिर्फ सरकार नहीं कर सकती. इसके लिए हर व्यक्ति को पहल करनी होगी. उन्होंने कहा कि सरकार देसी उत्पादों को बढ़ावा देने की लगातार कोशिश कर रही है. झारखंड में सखी मंडल से जुड़कर लाखों महिलाएं तरह-तरह के उत्पाद बना रही हैं और उसे बेचकर आजीविका कमा रहीं हैं.

Also Read: रांची में चल रहा खादी मेला लोगों को कर रहा आकर्षित, सिल्क साड़ी से लेकर इन सामानों की हो रही जमकर खरीददारी

सखी मंडल के उत्पादों में नहीं होता केमिकल

मुख्यमंत्री ने कहा कि सखी मंडल के उत्पादों में केमिकल नहीं होता. ये पूर्णत: स्वदेशी उत्पाद हैं. सरकार इन दीदियों के उत्पादों को पलाश ब्रांड के माध्यम से बाजार उपलब्ध करा रही है, ताकि उनकी आजीविका के साधनों को और मजबूत कर सके. हम सबको इनका उत्पाद खरीदकर इन्हें मजबूत बनाना होगा. सखी दीदियां मजबूत होंगी, तो ग्रामीण अर्थव्यवस्था भी मजबूत होगी. इससे अपना राज्य भी समृद्ध होगा.

रोटी, कपड़ा और मकान की जरूरत सभी को : हेमंत सोरेन

हेमंत सोरेन ने कहा कि रोटी, कपड़ा और मकान की जरूरत हमारे पूर्वजों को थी, हमें भी है और हमारी आने वाली पीढ़ी को भी रहेगी. इसके बिना हमारी जिंदगी आगे नहीं बढ़ सकती. इसलिए हमारी सरकार सुनिश्चित कर रही है कि हर किसी के लिए रोटी, कपड़ा और मकान की व्यवस्था हो.

Also Read: खादी मेला की अनोखी तस्वीरें : बच्चे को गोद में लेकर रैंप पर उतरी माॅडल, दिव्यांगों ने भी बिखेरा जलवा

कार्यक्रम में मौजूद रहे विधायक और सांसद

इस अवसर पर ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम, सांसद संजय सेठ, राज्यसभा सांसद महुआ माजी, विधायक सीपी सिंह, मुख्यमंत्री की प्रधान सचिव वंदना दादेल, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव विनय कुमार चौबे, उद्योग विभाग के सचिव जितेंद्र कुमार सिंह और ग्रामीण विकास विभाग के सचिव चंद्रशेखर समेत कई पदाधिकारी मौजूद थे.

Exit mobile version