Jharkhand News: झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा है कि कोल कंपनियों के पास राज्य का 1.36 लाख करोड़ रुपये बकाया है. इसका राज्य को जल्द भुगतान किया जाये. इस बाबत ट्वीट कर उन्होंने कहा कि बार-बार परामर्श के बाद भी बकाया का भुगतान नहीं किया जा रहा है. सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों द्वारा किए गए खनन से संबंधित 1.36 लाख करोड़ रुपये के वैध बकाया का भुगतान नहीं किया जा रहा है. इस संबंध में भारत सरकार ने अब तक कोई ध्यान नहीं दिया है. उन्होंने कहा है कि इस बाबत केंद्रीय मंत्री प्रहलाद जोशी को पिछले दिनों पत्र लिखा है.
केंद्र सरकार ने नहीं दिया ध्यान
झारखंड के सीएम हेमंत सोरेन ने ट्वीट कर जानकारी दी है कि बार-बार परामर्श के बावजूद केन्द्रीय सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों द्वारा किए गए खनन से संबंधित 1.36 लाख करोड़ रुपये के लंबे समय से वैध बकाया का भुगतान नहीं किया जा रहा है. इस संबंध में भारत सरकार ने अब तक कोई ध्यान नहीं दिया है. उन्होंने इस बाबत केंद्रीय मंत्री प्रहलाद जोशी को पत्र लिखा है.
Inspite of repeated consultations held with @CoalMinistry & @NITIAayog regarding non payment of long standing legitimate dues of Rs 1.36 lakh crores related to mining done by Central PSUs, Govt of India has paid no heed so far. I have written to @JoshiPralhad’ji in this regard. pic.twitter.com/VcSReuyQaa
— Hemant Soren (@HemantSorenJMM) March 26, 2022
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बाहर नहीं जाने देंगे कोयला
मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने केंद्र सरकार और कोल कंपनियों पर कल शुक्रवार को झारखंड विधानसभा में जमकर हमला बोला. उन्होंने कहा कि डीवीसी के बहाने केंद्र सरकार ने आरबीआई के राज्य कंसोलिडेटेड फंड से 3000 करोड़ काटने का काम किया है. उन्होंने कहा कि कोल कंपनियों के पास राज्य का 1.36 लाख करोड़ रुपये बकाया है. इसका राज्य को जल्द भुगतान किया जाये. ऐसे नहीं होने पर हम कोयला राज्य से बाहर नहीं जाने देंगे. ताला लगा देंगे. सीएम ने कहा कि कोल कंपनियों से हर हाल में बकाया लेकर रहेंगे.
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Posted By : Guru Swarup Mishra