सीएम हेमंत सोरेन ने 50 हजार सखी मंडलों के बीच 75 करोड़ रुपये ऑनलाइन किये ट्रांसफर, 6 लाख ग्रामीण परिवारों को मिलेगा इसका लाभ

मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने सोमवार (15 जून, 2020) को राज्य के 50 हजार सखी मंडलों को चक्रीय निधि के रूप में 75 करोड़ रुपये की राशि ऑनलाइन ट्रांसफर की है. इनमें से हर सखी मंडल को 15-15 हजार रुपये अनुदान के रूप में दिये गये हैं. इस राशि से सखी मंडलों से जुड़े करीब 6 लाख ग्रामीण परिवारों को लाभ होगा.

By Prabhat Khabar Digital Desk | June 15, 2020 10:50 PM

रांची : मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने सोमवार (15 जून, 2020) को राज्य के 50 हजार सखी मंडलों को चक्रीय निधि के रूप में 75 करोड़ रुपये की राशि ऑनलाइन ट्रांसफर की है. इनमें से हर सखी मंडल को 15-15 हजार रुपये अनुदान के रूप में दिये गये हैं. इस राशि से सखी मंडलों से जुड़े करीब 6 लाख ग्रामीण परिवारों को लाभ होगा. इससे दीदियों को छोटी- मोटी जरूरतों को पूरा करने के लिए सखी मंडल से पैसे मिल सकेंगे और उनके बीच लेन- देन को बढ़ावा मिलेगा. इससे उन्हें आजीविका को सशक्त करने का मौका मिलेगा.

मुख्यमंत्री ने कहा कि ग्रामीण महिलाओं को स्वावलंबी, सशक्त और आजीविका से जोड़ना सरकार की विशेष प्राथमिकता है. राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन के तहत ग्रामीण परिवेश की महिलाओं को सखी मंडलों से जोड़कर उन्हें आजीविका के विभिन्न माध्यमों, स्वरोजगार व हुनरमंद व्यवसाय के अवसर उपलब्ध कराकर गरीबी उन्मूलन की कोशिश की जा रही है.

उन्होंने कहा कि आजीविका मिशन के तहत गरीब महिलाओं का क्षमता वर्धन किया जा रहा है. झारखंड राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन के जरिये हर ग्रामीण गरीब परिवार की एक महिला को स्वयं सहायता समूह से जोड़ा जा रहा है.

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मुख्यमंत्री ने कहा कि आजीविका मिशन के तहत ग्रामीण महिलाओं को कौशल विकास का प्रशिक्षण तथा वित्तीय सहायता भी दी जा रही है. यही वजह है कि आज लाखों की संख्या में महिलाएं आजीविका मिशन से जुड़कर खुद को स्वावलंबी और सशक्त बना रही हैं.

राज्य में कुल 2 लाख 45 सखी मंडलों से 30 लाख परिवारों को जोड़ा जा चुका है. इनमें 1 लाख 16 हजार सखी मंडलों को चक्रीय निधि के रूप में 174 करोड़ रुपये तथा 43 हजार सखी मंडलों को सामुदायिक निवेश निधि मद से 215 करोड़ रुपये उपलब्ध करायी जा चुकी है. इसके अलावा 1 लाख 17 हजार सखी मंडलों को बैंक लिंकेज के जरिये 1649 करोड़ रुपये उपलब्ध कराया जा चुका है.

जिन 50 हजार सखी मंडलों को 75 करोड़ रुपये अनुदान के तौर पर दिये गये हैं. उनमें बोकारो के 3043, चतरा के 3298, देवघर के 782, धनबाद के 4724, दुमका के 2572, गढ़वा के 664, गिरिडीह के 3603, गोड्डा के 1256, गुमला के 1341, हजारीबाग के 2683, जामताड़ा के 821, खूंटी के 392, कोडरमा के 1871, लातेहार के 1041, लोहरदगा के 657, पाकुड़ के 645, पलामू के 3437, पश्चिमी सिंहभूम के 3219, पूर्वी सिंहभूम के 4174, रामगढ़ के 2574, रांची के 3998, साहेबगंज के 648, सरायकेला- खरसावां के 1802 और सिमडेगा के 755 सखी मंडल हैं.

इस मौके पर ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम, मुख्य सचिव सुखदेव सिंह, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव राजीव अरुण एक्का, ग्रामीण विकास विभाग की सचिव आराधना पटनायक, झारखंड स्टेट लाइवलीहुड प्रमोशन सोसाइटी के सीइओ राजीव कुमार, चीफ ऑपरेटिंग अफसर विष्णु परिदा और प्रोग्राम मैनेजर कम्युनिकेशन कुमार विकास समेत सखी मंडल की दीदियां उपस्थित थी.

Posted By : Samir ranjan.

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