रांची : कोल इंडिया प्रबंधन और यूनियन के बीच दरार और बढ़ गयी है. कल प्रबंधन के साथ हुई बैठक में यूनियनों ने 47 फीसदी वेतन बढ़ोतरी की मांग की लेकिन उनकी मांग को ठुकरा दिया गया. यहां तक कि प्रबंधन ने 27 फीसदी देने से भी इनकार कर दिया. हैदराबाद में कोयलाकर्मियों के वेतन समझौते को लेकर आयोजित ज्वाइंट बाइपरटाइट कमेटी की पांचवीं बैठक मात्र डेढ़ घंटे ही चली. प्रबंधन के रवैये पर मजदूर यूनियनों ने नाराजगी जतायी. यूनियनों ने बाद में बैठक कर आंदोलन करने का निर्णय लिया.
इससे पूर्व जेबीसीसीआइ की बैठक कोल इंडिया के चेयरमैन प्रमोद अग्रवाल की अध्यक्षता में हुई. कोल इंडिया प्रबंधन ने पावर पॉइंट प्रजेंटेशन में ट्रेड यूनियन के मांग पत्र पर अपना पक्ष रखा. ट्रेड यूनियन के प्रतिनिधियों ने भी अपनी-अपनी प्रतिक्रिया दी. उन्होंने प्रबंधन से आग्रह किया कि न्यूनतम बढ़ोतरी तीन प्रतिशत वेतन वृद्धि से आगे आपका क्या ऑफर है? प्रबंधन की ओर से आग्रह किया गया कि पिछली बैठक में यूनियन के प्रतिनिधियों ने कहा था कि अगली बैठक में हम अपनी प्रतिक्रिया देंगे. आज यूनियन की बारी है, अपनी बात रखे.
यूनियन ने वेतन में 47 फीसदी की बढ़ोतरी की मांग की. प्रबंधन ने इसे तर्कसंगत नहीं बताया. उसने कहा कि किसी भी परिस्थिति में हम पिछले समझौते के बराबर या उससे ज्यादा नहीं दे सकते. चेयरमैन ने यह भी कहा कि दो अंक के प्रतिशत में भी न्यूनतम गारंटी लाभ संभव नहीं है.
यूनियन प्रतिनिधियों ने कहा कि बैठक में प्रबंधन का व्यवहार बहुत ही नकारात्मक था. यूनियन की ओर से प्रबंधन को कहा गया कि दसवें वेतन समझौता में दिये गये न्यूनतम गारंटी बेनिफिट (एमजीबी) पर बात करें. प्रबंधन ने कहा कि किसी भी परिस्थिति में 27 फीसदी भी वेतनवृद्धि नहीं कर सकते हैं. इसके बाद चेयरमैन उठ गये और जाने लगे. बाद में फिर बैठ गये.
कोल इंडिया के चेयरमैन प्रमोद अग्रवाल ने यूनियन को कहा कि अगली बैठक में प्रबंधन का अगला प्रस्ताव क्या होगा, बतायेंगे. अगली बैठक कोलकाता में होगी. निदेशक कार्मिक विनय रंजन, सीसीएल के सीएमडी पीएम प्रसाद, एसइसीएल के सीएमडी पीएस मिश्रा, बीसीसीएल के सीएमडी सिमरन दत्ता, यूनियन की ओर से बीएमएस लक्ष्मा रेड्डी, सुरेंद्र कुमार पांडे, एटक से रमेंद्र कुमार, आरसी सिंह आिद मौजूद थे.
Posted By: Sameer Oraon