कोल इंडिया की वेतन विसंगति होगी दूर, कोयला मंत्री ने किया आश्वस्त
कोल माइंस ऑफिसर्स एसोसिएशन (सीएमओएआइ) बीसीसीएल शाखा के प्रतिनिधिमंडल ने कोयला मंत्री से मिल कर उन्हें सम्मानित किया. वहीं वेतन विसंगति समेत कोयला अधिकारियों अन्य लंबित मुद्दों के निष्पादन के लिए ज्ञापन सौंपा
कोल इंडिया के अधिकारी व कर्मचारियों के बीच व्याप्त वेतन विसंगति को दूर करने को लेकर मंत्रालय व कोल इंडिया प्रबंधन गंभीर है. इस दिशा में सकारात्मक पहल की जा रही है. जल्द ही समस्या का समाधान होगा. यह बात कोयला मंत्री प्रह्लाद जोशी ने अपने बीसीसीएल दौरे के दूसरे दिन शुक्रवार ऑफिसर्स एसोसिएशन के पदाधिकारियों से बातचीत में कही.
इससे पूर्व कोल माइंस ऑफिसर्स एसोसिएशन (सीएमओएआइ) बीसीसीएल शाखा के प्रतिनिधिमंडल ने कोयला मंत्री से मिल कर उन्हें सम्मानित किया. वहीं वेतन विसंगति समेत कोयला अधिकारियों अन्य लंबित मुद्दों के निष्पादन के लिए ज्ञापन सौंपा. सीएमओएआइ बीसीसीएल के अध्यक्ष एके सिंह ने कहा कि वेतन विसंगति के कारण अधिकारियों में खास कर जूनियर अधिकारियों में काफी असंतोष व्याप्त है.
उन्होंने महारत्न कंपनी की तर्ज पर तथा डीपीइ की गाइड लाइन के मुताबिक वेतन भुगतान की मांग की. मौके पर ऑफिसर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष एके सिंह, एके झा, सुरेंद्र भूषण अलोक डोकानिया व दीपक कुमार आदि उपस्थित थे. बता दें कि राष्ट्रीय वेतन समझौता (एनसीडब्ल्यू-11) के लागू होने से कोयला अधिकारियों का वेतन कम हो गया है. जानकारी के मुताबिक इ-1 ग्रेड के अधिकारियों का न्यूनतम बेसिक 40 हजार रुपये है, जबकि ए-1 ग्रेड के कर्मचारियों को न्यूनतम बेसिक 71 हजार है. वहीं इ-5 ग्रेड तक के अधिकारियों का वेतन सुपरवाइजरी स्टाफ से वेतन से कम है. ऐसे में अधिकारियों में असंतोष है.