रांची. बुजुर्ग की मौत पर जिला कानूनी सेवा प्राधिकरण (डालसा) ने रविवार को स्वत: संज्ञान लिया. इसके बाद स्वास्थ्य विभाग ने भी अलग से रिपोर्ट मांगी है. विभाग के निर्देश के बाद अस्पताल प्रबंधन ने चार सदस्यीय जांच टीम बनायी है. सदर अस्पताल के उपाधीक्षक डॉ विमलेश सिंह की अध्यक्षता में जांच कमेटी बनायी गयी. इसमें सदस्यों में डॉ हरिश्चंद्र, डॉ अखिलेश कुमार झा और अस्पताल प्रबंधक जीरन कंडुलना शामिल हैं. टीम अगले 24 घंटे में अपनी पहली प्राथमिक रिपोर्ट को पेश करेगी.
किन परिस्थितियों में बुजुर्ग की हुई मौत
विभाग ने जानकारी मांगी है कि आखिर किन परिस्थितियों में बुजुर्ग की मौत हुई और इसके लिए कौन लोग जिम्मेदार हैं. साथ ही अस्पताल से दोषी पदाधिकारियों व कर्मियों के नाम, सीसीटीवी फुटेज और प्रत्यक्षदर्शियों के बयान उपलब्ध कराने को कहा गया है. इसके लिए डालसा ने अलग से वॉलंटियर्स को जिम्मेदारी सौंपते हुए लगाया है. सोमवार की सुबह में डालसा से रिपार्ट साझा की जायेगी.
जांच टीम ने पूछताछ की
रविवार को डालसा प्रतिनिधियों की मौजूद में जांच टीम ने सबसे पूछताछ की. देर शाम सदर अस्पताल प्रबंधन ने भी अपना पक्ष रखा. अस्पताल प्रबंधन का कहना है कि बुजुर्ग व्यक्ति तीन दिन पहले आया था. 108 एंबुलेंस से नहीं लाया गया. साथ ही खाना-पानी देने के साथ ही ट्रॉली मैन सेवा में लगे थे. डॉक्टरों के मुताबिक संभवतः कार्डियक अरेस्ट से बुजुर्ग की जान चली गयी.
प्रभात खबर में छपी खबर की चर्चा की
कमेटी ने अपनी प्राथमिक रिपोर्ट में प्रभात खबर में छपी खबर की चर्चा करते हुए बताया है कि अस्पताल परिसर में 80 वर्ष के लावारिस बुजुर्ग की मृत्यु हो गयी है. इसके पूर्व ट्रॉली में रोहन और रितेश द्वारा बुजुर्ग को धूप में बैठाया गया और खाना खिलाया गया. वह कुछ देर तक बैठने के बाद वहीं बैठे-बैठे अचेत हो गये. जिसके बाद उन्हें फौरन ट्रॉली पर रख कर इमरजेंसी में ले जाया गया, जहां जांच के बाद बुजुर्ग को मृत घोषित कर दिया गया. औपचारिकता पूरी करने के लिए लोअर बाजार थाना को खबर की गयी. फिर बुजुर्ग के शव को रिम्स में पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया.
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