प्रभात खबर के प्रधान संपादक को धमकी मामले में दीपक प्रकाश ने की CBI जांच की मांग, NUJI ने पीएम को लिखा पत्र
प्रभात खबर के प्रधान संपादक को होटवार जेल से धमकी मामले में राज्यसभा सदस्य दीपक प्रकाश ने सीबीआई जांच की मांग की है. वहीं, नेशनल यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स ने भी जेल से मिली धमकी पर गहरी चिंता जतायी. एनयूजेआइ ने मामले में प्रधानमंत्री और गृह मंत्री काे पत्र लिखा है.
भाजपा के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष सह राज्यसभा सदस्य दीपक प्रकाश ने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को पत्र लिखा है. पत्र लिखकर उन्होंने प्रभात खबर के प्रधान संपादक को धमकी दिये जाने के मामले की जांच सीबीआई से कराने की मांग की है. मालूम हो कि पिछले दिनों जेल के लैंड लाइन नंबर से प्रभात खबर के प्रधान संपादक आशुतोष चतुर्वेदी को धमकी दी गई थी. दीपक प्रकाश ने पत्र में कहा है कि भारत एक लोकतांत्रिक देश है, जहां मीडिया को लोकतंत्र के चार स्तंभों में से एक माना जाता है, ताकि लोकतंत्र सुचारू और पारदर्शी तरीके से काम करता रहे. और राज्य सरकार और इसके एजेंसियों के द्वारा लोकतंत्र के चौथे स्तंभ की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके. उन्होंने कहा कि जेल में बंद कैदियों को कानून का कोई डर नहीं है. इनके द्वारा जेल परिसर में कई गैरकानूनी कार्य किये जाते हैं. जेल के अंदर गैरकानूनी कार्यों को अंजाम बिना सरकार के संरक्षण और कानून के रखवाले के सहयोग के बिना संभव नहीं है. ऐसे में इस मामले की जांच सीबीआई से करायी जाये. उन्होंने कहा कि यदि मामला सीबीआई को हस्तांतरित नहीं किया गया, तो यह संदेश स्पष्ट हो जायेगा कि सत्ता के दलालों और राज्य की वर्तमान सरकार दोषियों को बचाने में लगी है.
नेशनल यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स ने जेल से मिली धमकी पर जतायी गहरी चिंता
प्रभात खबर के प्रधान संपादक आशुतोष चतुर्वेदी को शराब माफिया द्वारा जेल से मिली धमकी पर नेशनल यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स (एनयूजेआइ) ने गहरी चिंता जतायी है. सोमवार को नयी दिल्ली से जारी बयान में झारखंड सरकार से दोषियों पर त्वरित कार्रवाई की मांग की गयी है. एनयूजेआइ ने कहा कि पूरी घटना की घोर निंदा की जानी चाहिए, इस प्रकार की घटना बेहद खतरनाक प्रवृत्ति की है, जो सीधे तौर पर लोकतंत्र के चौथे स्तंभ पर सीधा हमला है. लोकतांत्रिक तरीके से कार्य करनेवाले पत्रकारों की आवाज को धमकी के जरिए चुप कराना किसी भी तरह से स्वीकार्य नहीं है. उन्होंने कहा कि जेल के फोन नंबर से धमकी देना, सीधे तौर पर राज्य सरकार की कार्यशैली पर गहरा प्रश्न चिह्न उठाता है. ऐसा प्रतीत होता है कि सरकारी संरक्षण की वजह से अपराधियों और माफियाओं के हौसले बुलंद हैं. जेल से माफिया के द्वारा वरिष्ठ पत्रकार को धमकी देने के लिए इस्तेमाल किये गये नंबरों (0612-2911807, 2911805, 2911806, 227002) के तार सीधे रांची स्थित बिरसा मुंडा जेल से जुड़े मिले हैं. जिसकी शिकायत उसी दिन पुलिस आयुक्त के साथ ही अन्य अधिकारियों के समक्ष दर्ज करायी गयी है.
प्रधानमंत्री और गृह मंत्री काे लिखा गया पत्र
नेशनल यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स ने इस मामले को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, झारखंड के राज्यपाल और मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को पत्र भेज कर धमकी देने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है. साथ ही इस मामले को भारतीय प्रेस परिषद में भी उठाने की बात कही. एनयूजेआइ के अध्यक्ष रास बिहारी का कहना है कि होटवार जेल से फोन करके धमकी देने से झारखंड सरकार पर भी सवाल उठ रहे हैं.
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