समय पर तीनों फ्लाइओवर का निर्माण पूरा होना मुश्किल, परेशानी झेल रहे लोग

सर्विस रोड की खराब स्थिति से रोज लग रहा है जाम. सड़कों पर बने गड्ढों में डाले गये स्टोन डस्ट की वजह से चलना मुश्किल हो गया है.

By Prabhat Khabar News Desk | April 7, 2024 12:45 AM

रांची. राजधानी में एक साथ तीन फ्लाइओवर का निर्माण हो रहा है. इस कारण शहर के लोग लगभग दो वर्षों से परेशानी झेल रहे हैं. सर्विस रोड की खराब स्थिति से यातायात प्रभावित हो रहा है. रोज ट्रैफिक जाम जग रहा है. वहीं, सड़कों पर बने गड्ढों में डाले गये स्टोन डस्ट की वजह से चलना मुश्किल हो गया है. इधर, फ्लाइओवरों के निर्माण की जो रफ्तार है, उससे समय पर पूरा होना मुश्किल लग रहा है. प्रभात खबर ने तीनों फ्लाइओवर के निर्माण कार्य की प्रगति का जायजा लिया. पेश है रिपोर्ट.

रातू रोड फ्लाइओवर : दोनों रैंप का कार्य लटका, 55 प्रतिशत ही हुआ है काम

रातू रोड एलिवेटेड कॉरिडोर परियोजना में रैंप का काम लटक गया है. इसे जनवरी 2025 तक पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है. लेकिन, अब तक 55 प्रतिशत कार्य ही हो सका है. रातू रोड चौराहा के पहले दो रैंप बनाया जाना है. राज्य सरकार के अनुरोध पर एक रैंप आकाशवाणी के आगे से वाहनों को उतारने के लिए बनाया जाना है. वहीं, दूसरा रैंप रातू रोड या हरमू की ओर से आने वाले वाहनों के लिए बनाया जाना है, ताकि इसके जरिये वाहन पिस्का मोड़ की ओर निकल सकें. दोनों रैंप का काम लटका हुआ है. वहीं, किशोरी सिंह यादव चौक से जाकिर हुसैन पार्क तक कॉरिडोर का पूरा काम बचा है. वहां पिलर से लेकर डेक स्लैब तक का काम अधूरा है. इटकी रोड में पिलर निर्माण के बाद कार्य नहीं बढ़ सका है. लाहकोठी से बिड़ला बोर्डिंग के आगे तक पिलर और गर्डर आदि तैयार कर लिये गये हैं. लेकिन, डेक स्लैब का काम बाकी है. डिजाइन बदलने की वजह से भू-अर्जन की योजना में भी बदलाव किया गया है.

सिरमटोली फ्लाइओवर : जुलाई में पूरा करने का लक्ष्य, 35 प्रतिशत काम बाकी

सिरमटोली फ्लाइओवर का निर्माण इसी वर्ष जुलाई महीने पूरा करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है. परंतु, अब तक 65 प्रतिशत कार्य ही पूरा किया जा सका है. सिरमटोली और मेकन चौक की ओर रैंप लगभग तैयार कर लिया गया है. केबल स्टे तैयार होने के बाद उसे रैंप से जोड़ा जाना है. फ्लाइओवर के लिए रेलवे लाइन के ऊपर केबल स्टे बनाना चुनौती है. पटेल चौक से रेलवे लाइन पार करते हुए ओवरब्रिज तक केबल स्टे बनाया जाना है. हालांकि, रेलवे की अनुमति नहीं मिलने के कारण केबल स्टे का कार्य अब तक आरंभ नहीं किया जा सका है. रेलवे ने 10 अप्रैल तक अनुमति देने का आश्वासन दिया है. रेलवे द्वारा अनापत्ति प्रमाण पत्र जारी करने के बाद ही पटेल चौक से राजेंद्र चौक तक केबल स्टे का कार्य शुरू किया जायेगा.

कांटाटोली फ्लाइओवर : 75 प्रतिशत हुआ काम, अगस्त तक पूरा करने का लक्ष्य

बहुप्रतीक्षित कांटाटोली फ्लाइओवर का 75 प्रतिशत निर्माण पूरा कर लिया गया है. सभी 486 सेगमेंटल बाॅक्स की कास्टिंग कर ली गयी है. फ्लाइओवर निर्माण के लिए सभी 42 पिलर खड़े कर दिये गये हैं. इन पिलरों के बीच के स्पैन (दो पिलरों के बीच की दूरी) में से 27 स्पैन को सेगमेंटल बाॅक्स चढ़ा कर एक-दूसरे से जोड़ दिया गया है. कुल 325 सेगमेंटल बाॅक्स पिलरों के बीच जोड़े गये हैं. शेष 15 स्पैन में 160 सेगमेंटल बाॅक्स चढ़ाये जाने का कार्य प्रगति पर है. कांटाटोली फ्लाइओवर को अगस्त 2024 तक पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है. वहीं, निर्माण में विलंब का कारण बने सभी विद्युत उपस्करों को हटाने में सफलता मिल गयी है. पानी की पाइपलाइन शिफ्टिंग का काम भी अंतिम चरण में है. हालांकि, एप्रोच और रैंप निर्माण बचा हुआ है.

बोले अधिकारी

पथ निर्माण विभाग के सचिव सुनील कुमार ने का कि सिरमटोली फ्लाइओवर और रातू रोड एलिवेटेड कॉरिडोर का निर्माण तेजी से किया जा रहा है. रेलवे की अनुमति मिलते ही सिरमटोली फ्लाइओवर को स्टे ब्रिज से जोड़ने का काम शुरू कर दिया जायेगा. वहीं, रातू रोड एलिवेटेड कॉरिडोर का निर्माण भी समय के पूर्व पूरा करने कोशिश की जा रही है. दोनों फ्लाइओवर को इसी साल पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है.

जुडको के अधिकारियों ने नहीं दिया जवाब

इधर, कांटाटोली फ्लाइओवर के संबंध में पूछे गये सवाल का जवाब देने से जुडको के अधिकारियों ने इनकार किया. जुडको के निदेशक तकनीकी गोपाल जी ने कहा कि पीआरओ ही प्रेस से बात करने के लिए अधिकृत किये गये हैं. उनके अलावा कोई और अधिकारी मीडिया से बात नहीं करेगा. वहीं, पीआरओ का फोन ऑफ होने की वजह से उनसे बात नहीं हो सकी.

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