दुष्कर्म के बाद हत्या की आशंका, कब्र से निकाला गया नाबालिग का शव

सासाराम(बिहार) के ईंट भट्ठा में काम करनेवाली पलामू जिले के रामगढ़ थाना क्षेत्र के नावाडीह गांव निवासी आदिम जनजाति की 13 वर्षीय नाबालिग की दो जून को संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गयी थी. तीन जून को उसका शव गांव लाया गया और परिजनों की गैरमौजूदगी में दफना दिया गया.

By Prabhat Khabar News Desk | June 7, 2024 1:00 AM

प्रतिनिधि (मेदिनीनगर).

सासाराम(बिहार) के ईंट भट्ठा में काम करनेवाली पलामू जिले के रामगढ़ थाना क्षेत्र के नावाडीह गांव निवासी आदिम जनजाति की 13 वर्षीय नाबालिग की दो जून को संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गयी थी. तीन जून को उसका शव गांव लाया गया और परिजनों की गैरमौजूदगी में दफना दिया गया. सूचना पाकर गांव पहुंची मृतका की मां ने आरोप लगाया है कि उसकी बेटी के साथ दुष्कर्म किया गया और उसके बाद उसकी हत्या कर दी गयी. उसके आवेदन गुरुवार सुबह चैनपुर सीओ चंद्रशेखर कुणाल और एसडीपीओ सदर मणिभूषण प्रसाद की मौजूदगी में नाबालिग का शव कब्र से निकाल कर पोस्टमार्टम के लिए एमएमसीएच भेजा गया. बताया जा रहा है कि आठ महीने पहले नाबालिग अपने चाचा के साथ सासाराम के ईंट भट्ठा में काम करने गयी थी. तीन जून की सुबह गांव का ही नरेश कोरवा उर्फ सरदार नाबालिग का शव लेकर गांव पहुंचा. इसके बाद मुखिया दयानंद प्रसाद के नेतृत्व में ग्रामीणों की बैठक बुलायी गयी. इसमें नरेश ने बताया कि लू लगने से बच्ची की मौत हो गयी है. बैठक में सबकी सहमति मिलने के बाद शव को दफना दिया गया. जब इसकी जानकारी पंचायत समिति सदस्य और मृतका की रिश्तेदार को मिली, तो उन्होंने मृतका की मां को सूचना देकर गांव बुलाया. बुधवार देर रात उसने अपनी बेटी के साथ दुष्कर्म के बाद हत्या का आरोप लगाते हुए रामगढ़ थाना में आवेदन दिया.

बच्ची के कपड़ों पर थे खून के निशान :

कब्र से शव निकाले जाने के बाद गांव की कई महिलाओं को उसे देखने के लिए भेजा गया. इन महिलाओं ने बताया कि नाबालिग के कपड़ों में खून लगा था, जिससे इस आशंका को बल मिलता है कि उसके साथ दुष्कर्म हुआ है. वहीं, कई ग्रामीणों ने बताया कि जब बच्ची का शव गांव लाया गया था, तब उसकी नाक से खून निकल रहा था.

दशहरा से पूर्व ईंट भट्ठा में काम करने सासाराम गयी थी नाबालिग :

मृतका की मां ने बताया कि पति की मौत के बाद वह परिवार का भरण-पोषण करने में असमर्थ थी. इस कारण पूरे परिवार के साथ रंका चली गयी थी. बाद में देवर उसके दो बेटों और नाबालिग बेटी को अपने साथ लेकर गांव आ गया. अभी वह छोटी बेटी के साथ रंका में रहती है. मृतका की मां का आरोप है कि दशहरा से पहले गांव का ही नरेश कोरवा फुसला कर देवर और उसकी नाबालिग बेटी को भी ईंट भट्ठा में काम कराने के लिए सासाराम ले गया था. उधर, मृतका के चाचा का कहना है कि दो जून को बच्ची को लू लग गयी थी. उसी रात उसके पेट में अचानक दर्द होने लगा और सुबह उसकी मौत हो गयी. इस मामले में एसडीपीओ मणि भूषण प्रसाद ने कहा कि प्रथमदृष्टया यह दुष्कर्म के बाद हत्या का मामला प्रतीत होता है. इस घटना की जांच की जायेगी. जो भी दोषी होगा, उसके खिलाफ कार्रवाई होगी. नरेश कोरवा और सासाराम के ईंट भट्ठा संचालक के विरुद्ध मामला दर्ज कर लिया गया है.

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