ऑटो व ई-रिक्शा चालकों के लिए ड्रेस कोड जरूरी, बिना परमिट वालों पर करें कार्रवाई : हाइकोर्ट

जनवरी 2022 में बिरसा चौक में ऑटो की टक्कर से महिला के मौत मामले में हुई सुनवाई. परिवहन विभाग के सचिव व ट्रैफिक एसपी को फ्रेश शपथ पत्र दायर करने का निर्देश.

By Prabhat Khabar News Desk | June 28, 2024 12:34 AM

रांची. झारखंड हाइकोर्ट ने जनवरी 2022 में राजधानी के बिरसा चौक में ऑटो की टक्कर से महिला की मौत मामले में दायर जनहित याचिका पर सुनवाई की. जस्टिस सुजीत नारायण प्रसाद व जस्टिस अरुण कुमार राय की खंडपीठ ने मामले की सुनवाई के दौरान रांची की ट्रैफिक व्यवस्था पर कड़ी नाराजगी जतायी. खंडपीठ ने परिवहन विभाग तथा ट्रैफिक एसपी को रांची शहर में चलनेवाले ई-रिक्शा व ऑटो चालकों के लिए ड्रेस कोड निर्धारित करने का निर्देश दिया. साथ ही माैखिक रूप से यह भी कहा कि बिना परमिट वाले ऑटो पर कड़ी कार्रवाई करें. खंडपीठ ने कहा कि ऐसा देखा गया है कि महात्मा गांधी मार्ग (मेन रोड) में बेतरतीब ढंग से ई-रिक्शा चलते हैं. चालक अपने निर्धारित रूट को छोड़ कर मेन रोड में वाहन चलाते हैं, जिससे मेन रोड में यातायात व्यवस्था ध्वस्त हो जाती है. इसे रेगुलेट करने की जरूरत है, ताकि लोगों को परेशानी न हो. खंडपीठ ने कहा कि कुछ ई-रिक्शा चालक हाफ पैंट पहन कर व सिर पर पगड़ी बांध कर गाड़ी चलाते देखे गये हैं, उसमें कई महिलाएं भी बैठी हुई थीं. वैसी स्थिति में ऑटो व ई-रिक्शा चालकों के लिए एक ड्रेस कोड होना जरूरी है, ताकि चालकों को देख कर किसी को शर्मिंदगी का अहसास न हो. वहीं, ऑटो व ई-रिक्शा चालक आठ से 10 यात्रियों को बैठा कर वाहन चलाते हैं. इससे दुर्घटना की संभावना बनी रहती है. ऑटो या ई-रिक्शा चालक अपने परमिट के अनुसार ही निर्धारित रूट पर वाहन चलायें, इसे ट्रैफिक पुलिस व रांची नगर निगम सुनिश्चित करे. खंडपीठ ने परिवहन विभाग के सचिव व ट्रैफिक एसपी को फ्रेश शपथ पत्र दायर कर राजधानी रांची में ट्रैफिक सुधार के लिए उठाये गये कदम की जानकारी देने का निर्देश दिया. मामले की अगली सुनवाई चार जुलाई को होगी. इससे पूर्व प्रार्थी की ओर से अधिवक्ता राजीव कुमार ने पैरवी की. वहीं, रांची नगर निगम की ओर से अधिवक्ता एलसीएन शाहदेव ने पक्ष रखा. उल्लेखनीय है कि प्रार्थी शिवशंकर शर्मा ने जनहित याचिका दायर की है.

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