Durga Puja 2022: रांची का हर पूजा पंडाल है थीम आधारित, देखें आकर्षक तस्वीरें
Durga Puja 2022: झारखंड में दूर्गापूजा की धूम है. दो साल बाद दुर्गोत्सव का उल्लास दिख रहा है. हर पंडाल थीम आधारित है. कहीं प्रकृति संरक्षण का संदेश दिया जा रहा है, तो कहीं नेत्रदान और अंगदान महादान. साथ ही यातायात नियमों को लेकर भी सचेत किया जा रहा है. वहीं लाइटिंग की सजावट भी आकर्षित कर रही है.
यहां पूजा पंडाल का थीम है दक्षिण अफ्रीका का फिश फेस्टिवल़ पंडाल को हुगला पत्ता, टोकरी और लकड़ी से तैयार किया गया है. पंडाल की लंबाई 60 फीट और चौड़ाई 40 फीट है. मुख्य द्वार पर बनी मछली सबको आकर्षित कर रही है. आयाेजन समिति के अध्यक्ष रमेश सिंह ने बताया कि सभी निर्माण कार्य और साज-सज्जा कोलकाता के कारीगर उत्तम मुखर्जी और उनकी टीम ने किया है.
इस वर्ष झारखंड की कला संस्कृति को दर्शाते हुए पूजा पंडाल का निर्माण किया गया है. इसमें जल, जंगल, जमीन को बचाने का संदेश दिया गया है़ इंट्री गेट पर तलवार की नक्काशी भी भक्तों को देखने मिलेगी. पंडाल में बांस, घास और लालटेन से डिजाइन की गयी है़ इसे कोलकाता के कारीगर उत्तम और 50 कारीगरों की टीम ने तैयार किया है.
यहां सेफ लाइफ सेफ ड्राइव थीम पर पंडाल तैयार है. ट्रैफिक सिग्नल की महत्ता, हेलमेट जरूरी है, बिना सीट बेल्ट कार न चलायें, वाहन चलाते समय हेड फोन का इस्तेमाल न करें…के संदेश दिये जा रहे हैं. सचिव राहुल कुमार ने बताया कि पंडाल का निर्माण कोलकाता के कारीगर अजय मजूमदार और 45 लोगों की टीम ने किया है.
यहां इको फ्रेंडली पंडाल बनाया गया है. इस बार मां दुर्गा का आगमन हाथी पर हुआ है. इसी थीम पर पंडाल में भी तीन हाथी बनाये गये हैं. हाथियों की सूंड ऊपर है. सूंड के बीच से ही भक्त मां के दर्शन के लिए जायेंगे. समिति के अध्यक्ष पंकज साहू ने बताया कि पंडाल में कपड़े और पेंट का इस्तेमाल किया गया है. पंडाल का निर्माण बंगाल के कारीगर चंदन व उत्तम के साथ 25 लोगों की टीम ने किया है.
पंडाल के अंदर की आंतरिक साज-सज्जा नेत्रदान जीवनदान और अंगदान महादान के थीम पर की गयी है़ इसमें दिखाया गया है कि एक नेत्रहीन दंपती दुर्गा पूजा देखने के लिए निकला है, लेकिन वह पूजा की खुशी को देख नहीं पा रहा है. फिर भी स्पीकर से आ रही आवाज और स्पर्श से सबकुछ अनुभव करता है़ वस्तुओं को छू कर समझता और इसके बारे में दूसरों को बताता भी है़ अध्यक्ष डॉ अजीत सहाय ने कहा कि नेत्रदान में मिली आंख से वह दंपती फिर से दुनिया देखने लगता है. साथ ही दूसरों को आंखें दान करने के लिए प्रेरित करता है़ पंडाल का बजट 20 लाख रुपये है.
यहां विलुप्त होते खेल को बखूबी दिखाने की कोशिश की गयी है. बंगाल से मंगायी गयी खेल सामग्री रस्सी, बैडमिंटन, क्रॉक, पंतग, लटाई आदि से सजावट की गयी है. शटल कॉक का बड़ा प्रारूप आकर्षित कर रहा है. समिति अध्यक्ष मनोज पांडेय ने बताया कि पंडाल के निर्माण में करीब दो महीने लगे़ इसका निर्माण दीघा के कारीगर देवाशिष चक्रवर्ती और 30 से अधिक लोगों की टीम ने किया है. बच्चों में खेल के प्रति जागरूकता लाने के लिए पंडाल तैयार किया गया है. कार्टून कैरेक्टर भी बनाये गये हैं.
ओसीसी क्लब दुर्गा पूजा समिति के पूजा पंडाल (बांग्ला स्कूल परिसर) का उद्घाटन गुरुवार को डीआइजी अनीश गुप्ता ने किया़ गरबा की भी प्रस्तुति हुई़ अध्यक्ष राजेंद्र सिंह ने सबका स्वागत किया. इस अवसर पर सिटी एसपी अंशुमान कुमार, भैरव सिंह मौजूद थे. इधर, पंडाल का पट खुलते ही काफी भक्त दर्शन के लिए पहुंचे. यहां जूट, पुआल, आमड़ा के बीज की कलाकृति है.