CGL Exam News : एसआइटी को मिले तथ्य, मोबाइल की टाइमलाइन बदल कर बनाये गये पेपर लीक के फर्जी दस्तावेज

सीजीएल परीक्षा में पेपर लीक और पेपर लीक से संबंधित फर्जी दस्तावेज बनाने के आरोप में दर्ज दो अलग-अलग केस की जांच कर रही एसआइटी को नये तथ्य मिले हैं. एसआइटी को शुरुआती जांच में पेपर लीक होने से संबंधित कोई ठोस साक्ष्य नहीं मिले. जबकि, जांच में यह पता चला है कि पेपर लीक से संबंधित मोबाइल में जो फोटोग्राफी की गयी थी, वह बाद की है.

By Prabhat Khabar News Desk | January 22, 2025 12:28 AM

रांची. सीजीएल परीक्षा में पेपर लीक और पेपर लीक से संबंधित फर्जी दस्तावेज बनाने के आरोप में दर्ज दो अलग-अलग केस की जांच कर रही एसआइटी को नये तथ्य मिले हैं. एसआइटी को शुरुआती जांच में पेपर लीक होने से संबंधित कोई ठोस साक्ष्य नहीं मिले. जबकि, जांच में यह पता चला है कि पेपर लीक से संबंधित मोबाइल में जो फोटोग्राफी की गयी थी, वह बाद की है, लेकिन यह साबित करने के लिए कि गड़बड़ी ‘परीक्षा के दौरान’ और ‘परीक्षा से पहले’ हुई है, मोबाइल में टाइमलाइन चेंज कर फोटोग्राफी की गयी थी.

शिकायत करनेवाले छात्र नहीं दे सके एसआइटी के सवालों का जवाब

जांच से जुड़े अधिकारियों के अनुसार, मामले में शिकायत करनेवाले छात्रों का बयान लिया गया. उस दौरान साक्ष्य प्रस्तुत करनेवाले छात्रों से जब पूछा गया कि मोबाइल में उस युवक का फोटोग्राफ क्यों नहीं है, जिसके हाथ में पेपर लीक करने के संबंधित पेपर था, तब छात्रों ने इसका कोई जवाब नहीं दिया. इसलिए एसआइटी ने इसे जांच के दौरान संदेहास्पद पाया है. इसके अलावा एसआइटी को मामले में कुछ ऐसी शिकायतें भी मिली हैं, जिसमें बताया गया था कि मोबाइल का टाइमलाइन चेंज कर पेपर लीक होने से संबंधित फर्जी दस्तावेज और फर्जी व्हाट्सऐप चैट तैयार किये है. इन तथ्यों की जानकारी मिलने के बाद डीजीपी अनुराग गुप्ता ने एसआइटी को मामले की गहराई से जांच का आदेश दिया है. एसआइटी ने मोबाइल में फोटोग्राफी की सत्यता की जांच के लिए जब्त मोबाइल को एफएसएल के पास भेज दिया है.

एसआइटी को मिली हैं 54 शिकायतें

जांच से जुड़े अधिकारियों के अनुसार, अब तक सीजीएल परीक्षा में गड़बड़ी, पेपर लीक सहित अन्य आरोप की जांच के लिए गठित एसआइटी को 54 शिकायतें मिल चुकी हैं. इन शिकायतों में कुछ शिकायतें पेपर लीक होने से संबंधित हैं. कुछ शिकायतें संदिग्ध छात्रों के बारे में और कुछ शिकायतें सेंटर के बारे में हैं. सभी शिकायतों की समीक्षा गहराई से की जा रही है. उल्लेखनीय है कि हाइकोर्ट के निर्देश पर मामले की जांच के लिए डीजीपी ने एसआइटी का गठन किया था. एक केस में छात्रों की शिकायत के आधार पर यह आरोप लगाया गया है कि परीक्षा से पहले पेपर लीक किया गया था. इसमें एसआइटी को छात्रों की शिकायत पर जांच के लिए कुछ फोटोग्राफ और वीडियो सहित अन्य साक्ष्य उपलब्ध कराये गये थे. जबकि, दूसरा केस जेएसएससी के अधिकारियों के बयान पर दर्ज किया गया है. इसमें अधिकारियों का आरोप है कि परीक्षा को प्रभावित करने के लिए फर्जी दस्तावेज तैयार कर परीक्षा लीक होने से संबंधित आरोप लगाया गया है. यह काम जानबूझकर किया गया है.

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