ध्वनि प्रदूषण फैलाने के मामले में पूर्व मंत्री योगेंद्र साव हुए बरी, जानें क्या था मामला
अपर न्यायायुक्त विशाल श्रीवास्तव की अदालत ने पूर्व मंत्री योगेंद्र साव को ध्वनि प्रदूषण फैलाने के मामले में साक्ष्य के अभाव में बरी कर दिया.
रांची : अपर न्यायायुक्त विशाल श्रीवास्तव की अदालत ने पूर्व मंत्री योगेंद्र साव को ध्वनि प्रदूषण फैलाने के मामले में साक्ष्य के अभाव में बरी कर दिया. मामला वर्ष 2016 का है. बताया जाता है कि दो मई 2016 को एनटीपीसी के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया था. इस दौरान पूर्व मंत्री योगेंद्र साव व अन्य लाउडस्पीकर का प्रयोग कर रहे थे.
विरोध प्रदर्शन के दौरान योगेंद्र साव व अन्य लोग लाउडस्पीकर का प्रयोग करते हुए प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के सामने चले गये थे. जिससे आमलोगों को परेशानी का सामना करना पड़ा था. इस संबंध में बड़कागांव के तत्कालीन थाना प्रभारी राम दयाल मुंडा के बयान पर बड़कागांव थाना में कांड संख्या 122/ 16 दर्ज किया गया था.
इस मामले में उनके साथ एक अन्य आरोपी चोहन साव को भी आरोपी बनाया गया था, योगेंद्र साव के साथ उन्हें भी रिहा किया गया है. योगेंद्र साव अन्य मामले में अभी जेल में ही रहेंगे.