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कोरोना ने बदल दी परिस्थिति : माननीयों को अब नहीं चाहिए नली-गली, कोरोना से ही लड़ने की है तैयारी

वैश्विक महामारी कोरोना ने सबकुछ बदल दिया है. विधायकों की प्राथमिकता भी बदल गयी है. विधायकों को अपने क्षेत्र के विकास के लिए सड़क, नली, कुआं, सामुदायिक भवन जैसे आधारभूत संरचना की फिलहाल जरूरत नहीं है.

By Prabhat Khabar News Desk | May 12, 2020 6:08 AM

रांची : वैश्विक महामारी कोरोना ने सबकुछ बदल दिया है. विधायकों की प्राथमिकता भी बदल गयी है. विधायकों को अपने क्षेत्र के विकास के लिए सड़क, नली, कुआं, सामुदायिक भवन जैसे आधारभूत संरचना की फिलहाल जरूरत नहीं है. विधायक भी अपने क्षेत्र और लोगों को कोरोना से बचाने के उपाय से जूझ रहे़ विधायक फंड की राशि अब कोरोना से बचने के उपाय में खर्च हो रहे है.

राज्य के दर्जनों विधायकों ने अपने फंड से मास्क, सेनिटाइजर, थर्मल स्कैनर जैसी चीजों की खरीदारी की अनुशंसा की है. उपविकास आयुक्त को इसकी खरीदारी की अनुशंसा की गयी है़ इसके साथ ही कई विधायकों ने गरीबों व जरूरतमंदों के बीच अनाज वितरण के लिए जिला को फंड देने की सहमति बनायी है. भाजपा विधायक विरंची नारायण ने 10 लाख रुपये से सौ थर्मो स्कैनर और थ्री लेयर मास्क की खरीदारी की अनुशंसा की है. इसके साथ ही 1454 लाख रुपये 727 प्रवासी मजदूरों के खाते में देने के लिए डीबीटी की अनुशंसा की है.

10 लाख रुपये विधायक ने कोरोना महामारी से लड़ने के लिए फंड देने की अनुशंसा की है़ भाजपा विधायक भानु प्रताप शाही, नवीन जायसवाल, राज सिन्हा, अनंत ओझा, मनीष जायसवाल सहित कई विधायकों ने काेरोना से बचाव के लिए अपने क्षेत्र में उपाय करने के लिए डीडीसी को फंड की अनुशंसा की है. विधायकों ने 10-15 लाख रुपये के मास्क, थर्मो स्कैनर, हैंडवॉश, सेनिटाइजर आदि की व्यवस्था में खर्च करने का आग्रह किया है.

ऑन लाइन पढ़ाई के लिए स्टूडियो व उपकरण खरीदारी पर करेंगे खर्च

कोरोना महामारी में पठन-पाठन का भी पैटर्न बदल रहा है. सरकारी व निजी स्कूलों में ऑन लाइन पढ़ाई होने है़ं ऐसे में स्कूलों को आधाभूत संरचना की जरूरत है़ दूर-दराज के इलाके में बच्चों के घर टीवी नहीं है. ऐसे में बच्चों की पढ़ाई के लिए विधायकों की ओर से स्टूडियो निर्माण व उपकरण की खरीदारी की भी अनुशंसा की जा रही है़ विधायक विरंची नारायण ने अपने विधानसभा क्षेत्र में 10 लाख रुपये इस पर खर्च करने की अनुशंसा की है.

पशु आहार के लिए भी विधायक कर रहे हैं अनुशंसा

कोरोना महामारी में सबसे ज्यादा मार किसानों पर पड़ी है. विधायक किसानों की मदद के लिए पशु आहार की व्यवस्था भी अपने फंड से करना चाहते है़ं भाजपा विधायक भानु प्रताप शाही ने पांच लाख रुपये की अनुशंसा पशु आहार के लिए करने की सिफारिश की है. दूसरे विधायकों की भी इसको लेकर चिंतित है. कई जिलों में नहीं हो पा रही है निकासी, विधायक परेशानविधायक फंड की राशि की निकासी कई जिलों में नहीं हो रही है. विधायकोें की अनुशंसा के बाद भी निकासी नहीं हो रही है. गिरिडीह, हजारीबाग, बोकारो सहित कई जिलों में निकासी पर रोक लगी है. माले विधायक विनोद सिंह का कहना है कि उन्होंने प्रवासी मजदूरों के लिए 25 लाख की राशि की अनुशंसा की है. अब तक मजदूरों के खाते में रशि नहीं गयी. आजसू विधायक डॉ लंबोदर महतो ने इस मुद्दे पर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से मिल कर अपनी बात भी रखी है. श्री महतो का कहना है कि कोरोना को लेकर लोगों की समस्या को प्राथमिकता के आधार पर देखना चाहिए़ दूसरे राज्यों में फंसे मजदूर संकट में है. उन तक सहायता जल्द पहुंचनी चाहिए़

क्या कहते हैं विधायक

कोरोना महामारी को लेकर हर कोई सतर्क व चिंतित है. जनप्रतिनिधि होने के नाते हमारी जवाबदेही है कि उनकी लड़ाई व बचाव में सहायक बने. आज हमारी प्राथमिकता इस बीमारी से लड़ने की है. सरकार को इसे लेकर गंभीर होने की जरूरत है. – विरंची नारायण, भाजपा विधायक.

सरकार जुगाड़ तंत्र पर चल रही है़ सरकार काे बताना चाहिए कि कोरोना से लड़ने के लिए 200 करोड़ खर्च करने थे़ वह राशि कहां खर्च हुई़ अपने क्षेत्र के लोगों की सुरक्षित रखने की जवाबदेही है़ जनप्रतिनिधि के तौर पर हमारी पहली प्राथमिकता उनकी समस्या दूर करना है़ आज गांव के लोगों को काेरोना से बचाव के संसाधन नहीं है़ मुखिया को सरकार ने अब तक पैसे नहीं दिये है़ं – भानु प्रताप शाही, भाजपा विधायक.

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