प्रवर्तन निदेशालय की टीम ने मंगलवार को साहिबगंज के अधीक्षण अभियंता नाथन रजक के पूछताछ की. छापामारी की व्यस्तता के बीच इडी के अधिकारियों ने उनसे ज्यादा देर तक पूछताछ नहीं की. उनसे उनकी और उनके पारिवारिक सदस्यों की आमदनी और संपत्ति से संबंधित सवाल पूछे. साथ ही उनसे पूछा कि आपने रिम्स में इलाजरत पंकज मिश्रा से क्यों मुलाकात की.
इसके बाद इडी के टीम ने उन्हें संपत्ति से संबंधित दस्तावेज लाने का निर्देश दिया. पंकज को रिम्स में फोन की सुविधा उपलब्ध करानेवाले उसके सहयोगी सूरज पंडित से 22 फरवरी को पूछताछ होगी. रिम्स में तैनात पुलिसकर्मी भी पंकज मिश्रा की मदद करते थे. इडी ने जनवरी में रांची पुलिस ने वहां तैनात जवानों का ब्योरा मांगा था. लेकिन अब तक नहीं मिला.
गौरतलब है कि पंकज मिश्रा अवैध खनन के सहारे मनी लाउंड्रिंग के आरोप में जेल में बंद है. गिरफ्तारी के पहले चरण में वह इलाज के लिए रिम्स में भर्ती हुआ था. उस अवधि में कई अधिकारी उससे मिलने जाते थे. ईडी ने रिम्स से मिले सीसीटीवी फुटेज की जांच के दौरान पाया कि नाथन रजक भी पंकज मिश्रा से मिलने रिम्स गये थे. सीसीटीवी फुटेज से मिली तस्वीरों की पहचान का काम अब भी जारी है. जांच में ईडी को यह भी पता चला था कि रिम्स में भर्ती रहने के दौरान पंकज मिश्रा ने 300 से अधिक फोन कॉल किये थे. रिम्स में पंकज के फोन की सुविधा उपलब्ध कराने के मामले में ईडी ने सूरज व चंदन को पकड़ा था.