प्रतिनिधि, मेसरा. शिक्षा संस्कृति उत्थान ट्रस्ट व उदय मेमोरियल बीएड कॉलेज के संयुक्त तत्वावधान में मंगलवार को कॉलेज सभागार में मंगलवार को एकदिवसीय संगोष्ठी आयोजित की गयी. संगोष्ठी का विषय राष्ट्रीय शिक्षा नीति और भारतीय ज्ञान परंपरा था. मुख्य वक्ता दिल्ली शिक्षा संस्कृति उत्थान न्यास के राष्ट्रीय कोषाध्यक्ष सुरेश गुप्ता ने कहा कि भारत की गौरवमयी परंपरा व संस्कृति विरासत में मिली है. जब पश्चिमी देश में संडे स्कूल था. उस समय हमारे पास तक्षशिला समेत अन्य विश्वविद्यालय थे. संसार में सबसे बड़ा कूटनीतिज्ञ श्री कृष्णा व हनुमान सबसे बड़े प्रबंधक थे. देश को विश्व गुरु बनाना है तो नियमों का पालन करना होगा. उन्होंने नयी शिक्षा नीति पर कहा कि देश में पहली बार ऐसी शिक्षा नीति बनी, जिसमें केंद्र बिंदु भारत है. आइसीएफएआइ विश्वविद्यालय रांची के कुलपति प्रो रमन झा, सरला बिरला विश्व विद्यालय के रजिस्ट्रार विजय कुमार सिंह, भारथी कॉलेज ऑफ एजुकेशन के प्राचार्य विजय कुमार सिंह, रांची विश्वविद्यालय एनएसएस के समन्वयक, शिक्षा संस्कृति उत्थान न्यास झारखंड के सह संयोजक महेंद्र कुमार सिंह, जशपुरिया बीएड कॉलेज के प्राचार्य अनिल कुमार मिश्रा, उदय मेमोरियल बीएड कॉलेज के अध्यक्ष संतोष महतो, प्राचार्य डॉ चंदन कुमार पंकज, निदेशक राजेश कुमार कंडरवार ने भी अपनी बातें रखी. संचालन राखी कुमारी व संचाली नाग ने किया. धन्यवाद ज्ञापन वीणा सिंह ने किया.
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