Jharkhand के स्टूडेंट्स का जैसे-जैसे बढ़ती जा रही क्लास, कमजोर होते जा रहे हैं बच्चे
राष्ट्रीय स्तर के साथ झारखंड में बच्चे भी कक्षा बढ़ने के साथ पढ़ाई में कमजोर होते चले जाते हैं. राष्ट्रीय उपलब्धि सर्वे रिपोर्ट-2021 के अनुसार, झारखंड की सभी कक्षाओं में बच्चों का औसत अंक राष्ट्रीय स्तर की तुलना में कम है.
Education News : राष्ट्रीय स्तर के साथ झारखंड में बच्चे भी कक्षा बढ़ने के साथ पढ़ाई में कमजोर होते चले जाते हैं. राष्ट्रीय उपलब्धि सर्वे रिपोर्ट-2021 के अनुसार, झारखंड की सभी कक्षाओं में बच्चों का औसत अंक राष्ट्रीय स्तर की तुलना में कम है. हालांकि, कक्षा आठवीं व 10वीं में यह अंतर कम है. सर्वे में तीसरी, पांचवीं, आठवीं व 10वीं के विद्यार्थियों की परीक्षा ली गयी थी. इसमें सरकारी, निजी, सरकारी सहायता प्राप्त व केंद्रीय विद्यालय के बच्चे शामिल हुए थे. निजी व केंद्रीय विद्यालयों के बच्चों का रिजल्ट राज्य के सरकारी व सरकारी सहायता प्राप्त बच्चों की तुलना में बेहतर है.
पांचवीं में 10 जिलों का रिजल्ट औसत से बेहतर
राज्य में कक्षा आठवीं के बच्चों का औसत अंक 41.5 फीसदी है. राज्य के 10 जिलों के बच्चों का प्राप्तांक औसत अंक से बेहतर है. इनमें रांची, गढ़वा, कोडरमा, हजारीबाग, धनबाद, गिरिडीह, बोकारो, पूर्वी सिंहभूम, सरायकेला व देवघर शामिल हैं. कक्षा 10वीं में राज्य के बच्चों का औसत अंक 36.7 फीसदी है. रांची, कोडरमा, हजारीबाग, धनबाद, बोकारो, गिरिडीह, पूर्वी सिंहभूम, देवघर, पाकुड़ व गोड्डा के बच्चों का प्राप्तांक राज्य के बच्चों के औसत प्राप्तांक से अधिक है.
कक्षा तीन के 13 जिलों के बच्चे पीछे
राज्य में कक्षा तीन के बच्चों का औसत अंक 54.9 फीसदी है. 13 जिलों के बच्चों का प्राप्तांक औसत अंक से पीछे है. रांची, खूंटी, गढ़वा, गिरिडीह, सिमडेगा, हजारीबाग, धनबाद, बोकारो, पूर्वी सिंहभूम, देवघर व पाकुड़ के बच्चों का औसत अंक राज्य के औसत अंक से अधिक है. पांचवीं में 11 जिले के बच्चों का औसत अंक राज्य के औसत अंक से पीछे है. पांचवीं में राज्य के बच्चों का औसत अंक 46.1 फीसदी है. बोकारो, रांची, गढ़वा, पलामू, कोडरमा, हजारीबाग, धनबाद, गिरिडीह, पूर्वी सिंहभूम, सरायकेला, देवघर, दुमका व पाकुड़ के बच्चों का अंक राज्य के औसत अंक से बराबर या उससे अधिक है.