सीएए एडहॉक कमेटी के सचिव पर मनमानी का आरोप, 30 क्लब ने जेएफए को लिखा पत्र
सचिव ने अब तक सत्र 2021-22, 2022-23 और सत्र 2023-24 का लेखा जोखा नहीं दिया है.
-30 फुटबॉल क्लबों ने जेएफ व एआइएफएफ को लिखित शिकायत की
-सीएए एडहॉक कमेटी के सचिव को हटाने की मांगखेल संवाददाता, रांची
झारखंड में फुटबॉल का हाल किसी से छुपा नहीं है. अब छोटनागपुर एथलेटिक्स एसोसिएशन (सीएए) की एडहॉक कमेटी के सचिव को लेकर 30 फुटबॉल क्लबों ने झारखंड फुटबॉल एसोसिएशन (जेएफए) के महासचिव गुलाब रब्बानी को लिखित शिकायत की है. इसमें कहा गया है कि सीएए एडहॉक कमेटी के सचिव मनमाने ढंग से काम कर रहे हैं. इससे टीम प्रबंधन व खिलाड़ियों में काफी असंतोष है, इसलिए रांची में फुटबॉल सुचारू रूप से चलाने के लिए सचिव को हटा कर कार्यभार अध्यक्ष को दिया जाये.असंवैधानिक तरीके से काम कर रहे हैं सचिव
30 फुटबाॅल क्लब की ओर से सचिव पर कई आरोप लगाये गये हैं. इसमें कहा गया कि सचिव के द्वारा नियमों को ताक पर रख कर असंवैधानिक तरीके से काम किया जा रहा है. सचिव ने अब तक सत्र 2021-22, 2022-23 और सत्र 2023-24 का लेखा जोखा नहीं दिया है. बिना कोरम के ही मीटिंग बुलाते हैं और नियम बनाते हैं. सचिव संघ का पैसा भी अपने निजी बैंक अकाउंट में रखते हैं और इसका प्रयोग अपने व्यापार में करते हैं. सचिव द्वारा कोई भी कमेटी अभी तक नहीं बनायी गयी है.होनेवाली फुटबॉल लीग का विरोध
क्लब के सदस्यों का कहना है कि 12 मई से लीग शुरू हो रही है, लेकिन ऑल इंडिया फुटबॉल फेडरेशन के अनुसार लीग का सत्र जून से शुरू होकर अगले वर्ष 31 मई तक रहता है. इस तरह के इस वर्ष मई के महीने में सत्र 2024-25 में कराना असंवैधानिक होगा और खिलाड़ियों का रजिस्ट्रेशन सीआरएस के अंतर्गत करने में असुविधा होगी.जेएफए के नियम से चलती है सीएए की एडहॉक कमेटी
इस बारे में सीएए की एडहॉक कमेटी के सचिव का कहना है कि ये एडहॉक कमेटी है, जो जेएफए के नियमों के अनुसार चलती है. मेरे सचिव रहते टीम चैंपियन बनी है. वहीं पैसे के खर्च और पूरे हिसाब का ऑडिट होता है. कमेटी एक आदमी नहीं चलाता है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है