झारखंड हाईकोर्ट का निर्देश- सड़कों से फुटपाथ दुकानदारों और सब्जी विक्रेताओं को हटायें

झारखंड हाईकोर्ट ने सरकार से कहा है वो राजधानी की जाम की समस्या को गंभीरता से ले. अन्यथा अदालत आला पुलिस अधिकारी को तलब कर सकती है.

By Sameer Oraon | July 10, 2024 9:47 AM
an image

रांची : झारखंड हाईकोर्ट ने मंगलवार को एक जनहित याचिका पर सुनवाई के दौरान मौखिक रूप से रांची नगर निगम से कहा कि मेन रोड, हिनू, बिरसा चौक व लालपुर समेत शहर की अन्य सड़कों से फुटपाथ दुकानदारों और सब्जी विक्रेताओं को अविलंब हटायें. इसकी जानकारी शपथ पत्र के माध्यम से दी जाये. चीफ जस्टिस डॉ बीआर सारंगी और जस्टिस एसएन प्रसाद की खंडपीठ ने रांची नगर निगम को 15 जुलाई तक शपथ पत्र दायर करने का निर्देश दिया है. राज्य सरकार राजधानी में जाम की समस्या को गंभीरता से ले, अन्यथा आला पुलिस अधिकारी को तलब करेंगे

हाईकोर्ट का निर्देश- राज्य सरकार जाम की समस्या को गंभीरता से लें

फुटपाथ दुकानदारों को हटाने के पहले उनके पुनर्वास को लेकर दाखिल जनहित याचिका पर सुनवाई के दौरान अदालत ने कहा कि फुटपाथ दुकानदार और सब्जी विक्रेताओं को सड़क के किनारों से हटाने के लिए ट्रैफिक पुलिस के साथ मिलकर रांची नगर निगम अभियान चलाये, ताकि सड़क पर जाम की समस्या न हो और सुगम यातायात की व्यवस्था सुनिश्चित हो सके. राज्य सरकार भी राजधानी में जाम की समस्या को गंभीरता से ले, अन्यथा अदालत आला पुलिस अधिकारी को तलब कर सकती है. फुटपाथ दुकानदारों व सब्जी विक्रेताओं के लिए सड़क से हटाकर अन्य जगहों पर बसाने की व्यवस्था की जाये

फुटपाथ दुकानदारों के अलग जगह सुनिश्चित करें

अदालत ने मौखिक टिप्पणी करते हुए कहा कि रांची के मुख्य सड़कों पर फुटपाथ विक्रेता बैठे रहते हैं, जिससे प्रतिदिन जाम की समस्या से लोग परेशान रहते हैं. दुकानदारों के लिए अलग जगह सुनिश्चित की जाये. अदालत ने कहा कि फुटपाथ दुकानदारों और सब्जी विक्रेताओं के लिए सड़क के बजाये अन्य जगहों पर बसाने की वैकल्पिक व्यवस्था करें, जिससे सड़क आमलोगों के चलने के लिए खुली रहे. अदालत ने नगर निगम के अधिवक्ता से पूछा कि लालपुर चौक के पास सब्जी विक्रेताओं के लिए कौन-सी जगह निर्धारित की गयी, उसके बारे में भी अदालत को जानकारी दी जाये. अदालत ने कहा कि राजधानी में सड़कों पर लोग अपने वाहन लगा देते हैं और वेंडर भी अपनी दुकान सजा देते हैं. ट्रैफिक पुलिस उन पर कार्रवाई नहीं करती है.

Also Read: हजारीबाग एसपी और डीजीपी ने दिये गलत तथ्य, झारखंड हाईकोर्ट नाराज, मामला चीफ जस्टिस को रेफर

Exit mobile version