2019 के लोकसभा चुनाव में 164 उम्मीदवारों को 1 फीसदी भी नहीं मिला था वोट, 201 तो जमानत भी नहीं बचा पाए थे
पिछले चुनाव में सबसे अधिक 26 प्रत्याशी चतरा लोकसभा सीट से चुनाव मैदान में उतरे थे. चतरा में 26 में से 18 प्रत्याशी को एक फीसदी से कम वोट मिले थे.
रांची : राज्य में वर्ष 2019 के लोकसभा चुनाव में 229 प्रत्याशियों ने अपनी किस्मत आजमायी थी. इनमें से 164 उम्मीदवारों को एक फीसदी भी वोट नहीं मिले थे. प्रत्याशियों के वोट प्रतिशत को देखा जाये, तो इससे साफ लगता है कि लोग शौकिया भी चुनाव लड़ते हैं. राज्य में आधे से अधिक उम्मीदवारों को तो नोटा से भी कम वोट मिले थे. राज्य में कुल 229 प्रत्याशियों में से 201 अपनी जमानत भी नहीं बचा पाये थे. ऐसा नहीं है कि केवल निर्दलीय प्रत्याशी की जमानत जब्त हुई है, राष्ट्रीय और राज्य स्तर की पार्टियों के प्रत्याशी भी अपनी जमानत नहीं बचा पाये थे.
पिछले चुनाव में चतरा से सबसे अधिक प्रत्याशी :
पिछले चुनाव में सबसे अधिक 26 प्रत्याशी चतरा लोकसभा सीट से चुनाव मैदान में उतरे थे. चतरा में 26 में से 18 प्रत्याशी को एक फीसदी से कम वोट मिले थे. चतरा में भाजपा व कांग्रेस को छोड़कर किसी भी पार्टी के प्रत्याशी की जमानत नहीं बची थी. सबसे कम नौ प्रत्याशी सिंहभूम में थे. सिंहभूम में कांग्रेस व भाजपा को छोड़ सभी पार्टी के प्रत्याशियों की जमानत जब्त हो गयी थी. सिंहभूम में कुल नौ में चार प्रत्याशियों को एक फीसदी से कम वोट मिले थे. सिंहभूम में 2.76 फीसदी लोगों ने नोटा का विकल्प चुना था. सिंहभूम में नौ में सात प्रत्याशी को नोटा से भी कम वोट मिला था.
जमशेदपुर में 23 तो धनबाद व रांची में 20-20 प्रत्याशी
जमशेदपुर में 23 और रांची व धनबाद से 20-20 प्रत्याशी चुनाव मैदान में उतरे थे. जमशेदपुर में 23 में से 21 प्रत्याशी को एक फीसदी से कम वोट मिला था. सबकी जमानत जब्त हो गयी थी. रांची में 20 में 17 और धनबाद में 18 प्रत्याशी को एक फीसदी से कम वोट मिले थे. पिछले चुनाव में रांची से पांच बार सांसद रह चुके रामटहल चौधरी ने भी निर्दलीय चुनाव लड़ा था. रामटहल चौधरी को 2.39 फीसदी वोट मिला था. ज्ञात हो कि पिछले चुनाव में भाजपा ने रामटहल चौधरी की जगह संजय सेठ को अपना उम्मीदवार बनाया था.
आठ लोकसभा सीट पर नोटा को एक फीसदी से अधिक वोट
राज्य में पिछले चुनाव में आठ लोकसभा सीट पर एक फीसदी से अधिक लोगों ने नोटा का विकल्प चुना था. सिंहभूम में सबसे अधिक 2.76 फीसदी लोगों ने नोटा का विकल्प चुना था. जबकि खूंटी में 2.55, गिरिडीह में 1.78, कोडरमा में 2.58, गोड्डा में 1.56 , दुमका में 1.4 व राजमहल में 1.23 फीसदी लोगों ने नोटा का विकल्प चुना था.
लोकसभा क्षेत्र- कुल प्रत्याशी एक फीसदी से कम वोट मिले
राजमहल 14 09
दुमका 15 09
गोड्डा 13 08
चतरा 26 18
कोडरमा 14 11
गिरिडीह 15 13
धनबाद 20 18
रांची 20 17
जमशेदपुर 21 19
सिंहभूम 09 04
खूंटी 11 07
लाेहरदगा 14 08
पलामू 19 12
हजारीबाग 16 11