रांची: दो दिनों के झारखंड दौरे पर आयीं केंद्रीय शिक्षा राज्य मंत्री अन्नपूर्णा देवी को राज्य सरकार ने राज्य अतिथि का दर्जा देने में असमर्थता जतायी. उन्हें 17 व 18 अप्रैल को राज्य के तीन आकांक्षी जिला गिरिडीह, दुमका और धनबाद का दौरा करना था और केंद्रीय योजनाओं की समीक्षा करनी थी.
लेकिन, झारखंड सरकार ने पंचायत चुनाव को लेकर जारी आदर्श आचार संहिता का हवाला देते उन्हें राज्य अतिथि का प्रोटोकॉल देने से इंकार कर दिया. इस संबंध में मंत्रिमंडल सचिवालय व निगरानी विभाग की ओर से केंद्रीय मंत्री के निजी सचिव को पत्र भेज कर सूचना दी गयी. रविवार को अन्नपूर्णा देवी का दुमका में कार्यक्रम था. यहां प्रशासनिक अधिकारियों के साथ बैठक होनी थी, लेकिन आदर्श आचार संहिता का हवाला देते हुए बैठक को भी स्थगित कर दिया गया. वे सिर्फ पार्टी के कार्यक्रम में ही शामिल हो पायीं. इधर, केंद्रीय मंत्री रविवार की देर शाम ही दिल्ली लौट गयीं.
इस मामले को लेकर भाजपा ने राज्य सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. भाजपा प्रदेश अध्यक्ष दीपक प्रकाश ने कहा कि राज्य सरकार भारत के संघीय ढांचे पर प्रहार कर रही है. आदर्श आचार संहिता का बहाना बनाकर केंद्रीय मंत्रियों के झारखंड दौरे को टालने की कोशिश हो रही है.
जबकि, केंद्रीय मंत्रियों का राज्य के विभिन्न आकांक्षी जिलों में कार्यक्रम निर्धारित है. राज्य सरकार उन्हें आवश्यक और निर्धारित सुविधाएं उपलब्ध नहीं करा रही हैं. यह प्रोटोकॉल का पूरी तरह से उल्लंघन है. वहीं, बाहर से राज्य में आनेवाले कांग्रेस के नेताओं को सरकार हर सुविधा उपलब्ध करा रही है.
श्री प्रकाश ने कहा कि राज्य के ग्रामीण क्षेत्रों में जहां पंचायत चुनाव होने हैं, वहां आचार संहिता लागू है. लेकिन शहरी निकाय, नगरपालिका और निगम क्षेत्र में आचार संहिता लागू नहीं है. केंद्रीय मंत्रियों का कार्यक्रम आदर्श आचार संहिता वाले क्षेत्रों में नहीं है. अपनी नाकामियों को छिपाने के लिये राज्य सरकार के इशारे पर पदाधिकारी कानून के खिलाफ निर्णय ले रहे हैं.
झामुमो के केंद्रीय सदस्य सुप्रियो भट्टाचार्य ने कहा कि पार्टी ने केंद्रीय मंत्रियों के झारखंड भ्रमण पर रोक लगाने को लेकर चुनाव आयोग से शिकायत की है. चुनाव आयोग अपना काम करेगा. झारखंड में आचार संहिता लागू है. श्री भट्टाचार्य ने कहा कि केंद्रीय पंचायती राज्य मंत्री यहां पर एनजीओ व सेल्फ हेल्प ग्रुप से बात करेंगे. इससे स्पष्ट होता है कि केंद्रीय मंत्री अपने झारखंड भ्रमण के कार्यक्रम से पंचायत चुनाव को प्रभावित करना चाहते हैं. यह आचार संहिता का भी उल्लंघन है.
Posted By: Sameer Oraon