Electricity Crisis News: झारखंड बिजली आपूर्ति में कमी से जूझ रहा है. इस वजह से आम लोगों का जीवन प्रभावित हो रहा है. विभाग की ओर से अनावश्यक की जा रही बिजली की कटौती ने लोगों के परेशान कर दिया है. इस बिजली संकट की कई वजह है. राज्य स्तर पर टीवीएनएल और सिकिदिरी से बिजली की कम आपूर्ति बड़ी वजह है. इसके अलावा सेंट्रल पूल में आयी संकट परेशानी का सबब बनी है.
मिली जानकारी के अनुसार झारखंड में बिजली आपूर्ति मंगलवार को प्रभावित रही. सोमवार को राष्ट्रीय ग्रिड पर आये संकट, सिकिदिरी हाइडल पावर से उत्पादन नहीं होने और टीवीएनएल की एक इकाई बंद होने की वजह से राज्य में बिजली का भारी संकट उत्पन्न हो गया. लगभग 200 से 300 मेगावाट की लोड शेडिंग की जा रही थी. जबकि, मांग 1600 से 1800 मेगावाट की थी. वहीं, उपलब्धता 1500 मेगावाट की ही थी. राष्ट्रीय ग्रिड की फ्रिक्वेंसी 50 हर्ट्ज से कम रही. उत्तरी और पश्चिमी क्षेत्र के ग्रिड से जुड़े कुछ राज्य तय कोटा से अधिक बिजली खींच रहे हैं. जिसके कारण समस्या उत्पन्न हो रही है.
टीवीएनएल की एक यूनिट में मरम्मत का कार्य किया जा रहा है. एक यूनिट बंद होने से करीब 170 मेगावाट आपूर्ति कम हो गयी. हालांकि, आज से टीवीएनएल से उत्पादन आरंभ हो गया है. उधर, बारिश कम होने के कारण गेतलसूद डैम में पानी घटने से सिकिदिरी हाइडल की दोनों यूनिटें बंद हैं. यहां से करीब 100 मेगावाट बिजली का उत्पादन नहीं हो पा रहा है. इधर, पूरे झारखंड में एक बार फिर से बिजली की आंख-मिचौनी शुरू हो गयी है. रांची समेत कई जिलों में बिजली की कटौती बढ़ गयी.
बिजली विभाग के मुताबिक पिक आवर में ग्रिडों को करीब 75 मेगावाट बिजली कम आपूर्ति की गयी. इसके चलते राजधानी के बड़े इलाके में लोड शेडिंग के जरिए उपभोक्ताओं को बिजली मिली. राजधानी रांची में दो से तीन घंटे और बाहरी ग्रामीण इलाकों में छह से आठ घंटे तक बिजली कट रही. राजधानी में असमय होनेवाले कटौती से उपभोक्ता परेशान रहे. यह परेशानी सभी डिविजन में बनी रही. हटिया 132 केवी ग्रिड से शाम 7:45 बजे 70 मेगावाट, नामकुम को 55 मेगावाट और कांके ग्रिड को 70 मेगावाट ही बिजली मिली.