रांची: वर्तमान में झारखंड में 22 फास्ट ट्रैक स्पेशल कोर्ट कार्यरत हैं. राज्य में फास्ट ट्रैक स्पेशल कोर्ट के माध्यम से दुष्कर्म और पोक्सो अधिनियम से जुड़े 5383 मामलों का भी निपटान किया गया है. केंद्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्री स्मृति ईरानी ने संसद ये जानकारी दी. रांची के सांसद संजय सेठ के सवाल के जवाब में केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने लोकसभा में यह जानकारी दी. उन्होंने बताया कि निर्भया फंड के तहत वित्तीय वर्ष 2023-24 में 7212.85 करोड़ रुपए की राशि आवंटित की गयी है.
5383 मामलों का हुआ निपटारा
केंद्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्री स्मृति ईरानी ने कहा कि निर्भया फंड के तहत झारखंड राज्य में आपातकालीन प्रतिक्रिया सहायता 112 मानव व्यापार रोधी इकाइयों की स्थापना, महिला हेल्पलाइन 181, वन स्टॉप सेंटर सहित कई कार्य हो रहे हैं. इसके अलावा फास्ट ट्रैक स्पेशल कोर्ट की स्थापना भी की गयी है. मूल रूप से यह फास्ट ट्रैक कोर्ट दुष्कर्म और पोक्सो अधिनियम के लंबित मुकदमों के निपटान के लिए किया गया है. झारखंड में फास्ट ट्रैक स्पेशल कोर्ट के माध्यम से दुष्कर्म और पोक्सो अधिनियम से जुड़े 5383 मामलों का निपटारा किया गया है.
झारखंड में 22 फास्ट ट्रैक स्पेशल कोर्ट
वर्तमान में झारखंड में 22 ऐसे फास्ट ट्रैक स्पेशल कोर्ट कार्यरत हैं. झारखंड के सभी 24 जिलों में वन स्टॉप सेंटर कार्यशील हैं. राज्य में वन स्टॉप सेंटर के माध्यम से 3435 महिलाओं को सहायता प्रदान की गयी है. 181 महिला हेल्पलाइन के माध्यम से 41587 महिलाओं को सहायता प्रदान की गयी है. झारखंड में फास्ट ट्रैक स्पेशल कोर्ट के माध्यम से दुष्कर्म और पोक्सो अधिनियम से जुड़े 5383 मामलों का भी निपटान किया गया है. सांसद संजय सेठ के सवाल के जवाब में केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने लोकसभा में यह जानकारी दी. उन्होंने बताया कि निर्भया फंड के तहत वित्तीय वर्ष 2023-24 में 7212.85 करोड़ रुपए की राशि आवंटित की गयी है.