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झारखंड : झामुमो गठबंधन को राष्ट्रपति से नहीं मिला मिलने का समय, पार्टी ने कही ये बात

विनोद पांडेय ने बताया कि देश के साथ राज्य में सबसे ज्वलंत मुद्दा सरना धर्म कोड की मांग को लेकर मुलाकात के लिए आग्रह किया गया था.

झामुमो गठबंधन ने 50 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल को लेकर राष्ट्रपति से मुलाकात के लिए चार मार्च को पत्र भेज कर समय की मांग की थी. पर राष्ट्रपति भवन से समय नहीं दिया गया है. इसे लेकर झामुमो ने कहा कि यह दुर्भाग्य है कि महत्वपूर्ण मुद्दों को लेकर प्रतिनिधिमंडल मिलना चाहता था, पर राष्ट्रपति भवन से समय नहीं मिला. पार्टी के महासचिव विनोद पांडेय ने प्रदेश कार्यालय में प्रेस कांफ्रेंस कर कहा कि राष्ट्रपति से मुलाकात के लिए समय की मांग की गयी थी. इस मुलाकात में गठबंधन के सांसद, मंत्री और विधायक शामिल होते. चार मार्च को पत्र भेजा गया था. पत्र पर जो जवाब आया है वह दुर्भाग्यपूर्ण है. जवाब में समय का अभाव मुख्य कारण बताया गया है.

वर्तमान समय में सरना धर्म कोड देश का सबसे ज्वलंत मुद्दा

श्री पांडेय ने बताया कि देश के साथ राज्य में सबसे ज्वलंत मुद्दा सरना धर्म कोड की मांग को लेकर मुलाकात के लिए आग्रह किया गया था. साथ ही एससी, एसटी और ओबीसी के आरक्षण तथा 1932 खतियान को लेकर प्रतिनिधिमंडल राष्ट्रपति से मिलना चाहता था. विधानसभा से पारित इन विधेयकों पर राज्य के राज्यपाल की टिप्पणी भी काफी दुर्भाग्यपूर्ण रही है. 1932 खतियान आधारित स्थानीय नीति का विधेयक विधानसभा से पारित कर राजभवन भेजा गया. लेकिन उसकी भी स्थिति वैसी ही है. गठबंधन की ओर से भेजे जाने वाले विधेयक के साथ ऐसा ही किया जा रहा है. जिससे कि सभी विधेयक लंबित रहे. उन्होंने कहा कि हम राष्ट्रपति महोदया से फिर एक बार आग्रह करेंगे, जिससे राज्य के सबसे ज्वलंत मुद्दों पर चर्चा हो सके.

वोट का मामला नहीं है

श्री पांडेय ने एक सवाल के जवाब में कहा कि राष्ट्रपति से रिश्ता और यह विषय दोनों अलग है. वोट देते समय जब हमने समर्थन किया था, तो हमें लगा था कि राज्य की राज्यपाल रही है और वह इस राज्य की भावना को समझ सकती हैं. पूर्व में सरना धर्म कोड विषय से अवगत भी रही हैं. जबकि पूर्व सीएम हेमंत सोरेन ने सरना धर्म कोड के मुद्दे को लेकर पत्र के माध्यम से राष्ट्रपति को अवगत कराया था.

सीटों के लेकर पेच फंसता रहता है

श्री पांडेय ने लोहरदगा सीट को लेकर कहा कि सीटों को लेकर पेच फंसता रहता है. सब मामला सुलझा लिया जायेगा. जल्द ही सीट और प्रत्याशी की घोषणा कर दी जायेगी.

जो देश के नहीं उनको बसाने की तैयारी

सीएए पर श्री पांडेय ने कहा कि 11 लाख लोग देश छोड़ कर जा चुके हैं. दूसरी ओर जो देश छोड़ कर गये हैं उनको लाने की जगह जो देश के नहीं हैं, उन्हें बसाने की तैयारी केंद्र सरकार कर रही है.

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