Ranchi News: झारखंड लोक सेवा आयोग (जेपीएससी) को बिरसा कृषि विवि के शिक्षकों, वैज्ञानिकों व अधिकारियों की नियुक्ति सहित प्रोन्नति का अधिकार है. लेकिन, आयोग के पास संबंधित संस्थान के बारे में विस्तृत जानकारी ही नहीं है. इसे देखते हुए आयोग ने अब संबंधित विवि व संस्थान का डाटाबेस तैयार करने का निर्णय लिया है.
आयोग विवि से शिक्षकों, अधिकारियों की स्थिति से लेकर मान्यता, राज्य सरकार व आइसीएआर से होनेवाले आय-व्यय का ब्योरा, विवि द्वारा प्राप्त पेटेंट, शोध पत्रों की संख्या, छात्र-छात्राअों को मिलनेवाली सुविधा, गोद लिये गांव, किसानों को दिये जाने वाले प्रशिक्षण सहित लगभग 42 प्रश्नों का जवाब मांगा है. विवि का देश भर के आइसीएआर रैंकिंग में स्थान नहीं मिलने अौर अब तक आइसीएआर से मान्यता लंबित रहने के बाद आयोग ने इसे गंभीरता से लिया है.
इस बाबत आयोग के सचिव ने बीएयू के कुलपति को पत्र भेज कर एक प्रश्नावली भी उपलब्ध करायी है. ताकि, विवि द्वारा उपलब्ध जानकारी के आधार पर डाटाबेस तैयार हो सके. आयोग का मानना है कि उसके पास निर्णय लेने की महत्वपूर्ण जिम्मेदारी है.
किसी भी संस्थान का प्रदर्शन, प्रतिष्ठा, शिक्षा, शोध व संकाय की गुणवत्ता, समर्पण और कार्यप्रणाली पर निर्भर है. देश व विश्व स्तर पर मापदंड निर्धारित करने के लिए रैकिंग की व्यवस्था की गयी है. आयोग के लिए विवि के कामकाज को भी समझना आवश्यक है.
विवि को उपलब्ध करायी गयी प्रश्नावली : आयोग के सचिव ने कुलपति को भेजे पत्र में अलग-अलग विषयों पर 42 से अधिक प्रश्नों का जवाब मांगा है. आयोग ने आइसीएआर को जमा की गयी वार्षिक रिपोर्ट के आधार पर भी अद्यतन स्थिति की जानकारी मांगी है. इसके अलावा आइसीएआर से मान्यता, विवि, केवीके, अनुसंधान क्षेत्र, कॉलेज आदि के लिए मिली भूमि का विवरण, शिक्षक व कर्मचारियों की स्थिति, विभाग, स्वीकृत पद, रिक्त पद, आइसीएआर/वीसीआइ द्वारा निर्धारित पद, कार्यरत कर्मी, रिक्त स्थान, 2018-19 और 2019-20 का बजट (राज्य सरकार व अाइसीएआर), प्रत्येक इकाई के लिए झारखंड सरकार से मिलनेवाले अनुदान.
आइसीएआर से मिले अनुदान, शिक्षण, अनुसंधान, टेक्नोलॉजी से प्राप्त राशि, मांस, मछली की बिक्री, दूध, अंडे, छात्रों की फीस, पशु चिकित्सा क्लिनिक आदि की अद्यतन स्थिति, पेंशन, यात्रा व्यय, दो शैक्षणिक सत्रों का स्नातक, स्नातकोत्तर, पीएचडी की स्थिति, झारखंड व बाहर के विद्यार्थियों की संख्या, शैक्षणिक कार्यक्रम की आइसीएआर से मान्यता की स्थिति, आइसीएआर पांचवीं डीन समिति की सिफारिश के क्रियान्वयन की स्थिति, वेटनरी कोर्स में वीसीआइ की स्थिति, डिग्री, सर्टिफिकेट कोर्स की स्थिति, विवि में आयोजित सेमिनार, कार्यशाला, अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन व इनमें विवि के शिक्षकों की भागीदारी की स्थिति, शोध कार्य की स्थिति, राष्ट्रीय-अंतरराष्ट्रीय परियोजना की स्थिति, परियोजना से प्राप्त राशि व उपयोग की विस्तृत जानकारी मांगी गयी है. देश व विश्व में विवि का स्थान के बारे में भी जानकारी मांगी है.
Posted by: Pritish Sahay