रांची : प्लस-टू शिक्षक व माध्यमिक शिक्षक सेवा शर्त नियमावली में संशोधन को लेकर माध्यमिक शिक्षा निदेशालय में सोमवार को बैठक हुई. बैठक में उक्त संगठनों के प्रतिनिधियों ने निदेशक को कई सुझाव दिये. बताया कि सेवा शर्त नियमावली को व्यावहारिक बनाये जाने की जरूरत है.
नियमावली के कई प्रावधानों में संशोधन किया जाना चाहिए. झारखंड माध्यमिक शिक्षक संघ ने सुझाव देते हुए कहा कि शिक्षकों का स्थानांतरण ऐच्छिक होना चाहिए. प्रधानाध्यापक पद पर सीधी नियुक्ति में पांच वर्ष का शिक्षण अनुभव रखा जाये. प्रोन्नति से 80 प्रतिशत व सीधी नियुक्ति से 20 प्रतिशत पदों पर नियुक्ति की जानी चाहिए.
संघ की अोर से 12 सूत्री सुझाव दिया गया. वहीं झारखंड प्लस-टू शिक्षक संघ की अोर से बताया गया कि राज्य में 510 प्लस-टू हाइस्कूल संचालित होते हैं. इन स्कूलों में प्राचार्य की नियुक्ति एक बार भी नहीं हुई है.
प्लस-टू स्कूलों में प्राचार्य, उप प्राचार्य व रात्रि प्रहरी का पद सृजित कर नियुक्ति की जाये. पीजीटी व प्रयोगशाला सहायक को एमएसपी का लाभ दिया जाये. प्लस-टू विद्यालय का प्रभार वरीय शिक्षक को दिया जाये. संघ ने कुल नाै सूत्री सुझाव प्रस्तुत किया.
Post by : Pritish Sahay