झारखंड में माैसम बदलते ही सर्दी-खांसी और गले की समस्या वाले मरीज बढ़े
गुरुवार को मेडिसिन ओपीडी में दाेपहर एक बजे तक 44 मौसमी बीमारी से पीड़ित मरीजों को परामर्श दिया गया. डॉक्टर बुखार की दवा के साथ-साथ एंटी एलर्जी दवा लिख रहे हैं.
रांची : दीपावली के बाद मौसम में तेजी से बदलाव हुआ है. सुबह और शाम में तामपान गिरने से ठंड का अहसास होने लगा है. वहीं, दिन में धूप निकलने के कारण तापमान बढ़ रहा है और गर्मी लग रही है. ऐसे में अधिकतर लोग लापरवाही बरत रहे है. यही लापरवाही लोगों को बीमार कर रहा है. बुखार, सर्दी-खांसी और गले की समस्या से लोग पीड़ित हो रहे हैं. सबसे ज्यादा समस्या लोगों को गले मेंं हो रही है, क्योंकि इसका इंफेक्शन लंबे समय तक रह रहा है. रिम्स और सदर अस्पताल के ओपीडी में मौसमी बीमारी से पीड़ित मरीजों की संख्या पिछले कुछ दिनों से 50 फीसदी बढ़ गयी है. मेडिसिन और इएनटी ओपीडी में प्रतिदिन मौसमी बीमारी से पीड़ित करीब 35 से 40 मरीजों को परामर्श दिया जा रहा है.
वहीं, सदर अस्पताल में सबसे ज्यादा मौसमी बीमारी के मरीज परामर्श लेने आ रहे हैं. गुरुवार को मेडिसिन ओपीडी में दाेपहर एक बजे तक 44 मौसमी बीमारी से पीड़ित मरीजों को परामर्श दिया गया. डॉक्टर बुखार की दवा के साथ-साथ एंटी एलर्जी दवा लिख रहे हैं. इसके अलावा गर्म पानी से गरारा करने की सलाह दी जा रही है. तीन दिन से ज्यादा समस्या होने पर ही एंटीबायोटिक लेने की सलाह दी जा रही है. इएनटी रोग विशेषज्ञ डॉ हर्ष कुमार ने बताया कि गले में इंफेक्शन से गले में दर्द और सूजन की समस्या हो रही है. शुरु में एंटीबायोटिक दवाएं नहीं दे रहे हैं, लेकिन राहत नहीं मिलने पर एंटीबायोटिक का कोर्स शुरू करना पड़ रहा है.
Also Read: रिम्स में गैस्ट्रोलॉजी, हार्मोनल डिसऑर्डर व हेमेटोलॉजी के विशेषज्ञ डॉक्टर नहीं, मरीज निजी अस्पताल के भरोसे
इन बातों का रखें ध्यान
– सुबह व शाम को पूरे बदन का कपड़ा पहनें
– ठंडे खाद्य पदार्थ का सेवन नहीं करें
– फ्रीज का पानी और कोल्ड ड्रिंक का इस्तेमाल नहीं करें
– अहले सुबह टहलने नहीं निकलें
मौसम में अचानक बदलाव हुआ है, लेकिन उसके हिसाब से लोग जीवनशैली में बदलाव नहीं कर रहे हैं. खानपान भी गर्मी वाला ही है, जिस कारण मौसमी बीमारियों से लोग पीड़ित हो रहे हैं. सुबह व शाम को पूरे शरीर को ढंकने वाला कपड़ा पहनें. गर्म व ताजा खाना खायें. फ्रीज का खाना व पेय पदार्थ का इस्तेमाल बंद कर दें.
डॉ विद्यापति, विभागाध्यक्ष, मेडिसिन