पैसा देते रहे, तो सैम्फोर्ड अस्पताल ने कहा स्वस्थ, रेफर की बात करने पर बताया मृत, थमा दिया 5.23 लाख का बिल, जानें पूरा मामला

कोरोना संक्रमितों के इलाज के नाम पर रांची के निजी अस्पताल अब बेहयाई पर उतर आये हैं. न सिर्फ इलाज में कोताही बरत रहे हैं, अलबत्ता मरीज के परिजनों को धोखे में रख कर मनमाना पैसे भी वसूल रहे हैं.

By Prabhat Khabar News Desk | September 19, 2020 8:22 AM

रांची : कोरोना संक्रमितों के इलाज के नाम पर रांची के निजी अस्पताल अब बेहयाई पर उतर आये हैं. न सिर्फ इलाज में कोताही बरत रहे हैं, अलबत्ता मरीज के परिजनों को धोखे में रख कर मनमाना पैसे भी वसूल रहे हैं. उनकी नजर में मरीज की जान की भी परवाह नहीं है. कोकर चौक स्थित सैम्फोर्ड अस्पताल में ऐसा ही मामला सामने आया है.

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मुख्य बातें :- 

  • परिजनों द्वारा हंगामा करने पर बिल में 1,03210 रुपये की छूट देने का ड्रामा, वसूल लिये 4.20 लाख रुपये

  • मेन रोड की रहनेवाली कोरोना संक्रमित महिला को सैम्फोर्ड अस्पताल में भर्ती कराया गया था

  • मौत के बाद बिल्कुल अलग बिल तैयार कर देते हैं अस्पताल – परिजन

मेन रोड की रहनेवाली कोरोना संक्रमित महिला को सैम्फोर्ड अस्पताल में भर्ती कराया गया था. परिजनों का आरोप है कि वे जबतक पैसा देते रहे, तबतक महिला को स्वस्थ बताया गया. जैसे ही रिम्स रेफर करने की बात की गयी, तो अस्पताल द्वारा संक्रमित महिला को मृत घोषित कर दिया गया. इतना ही नहीं, परिजनों को 13 दिनों के इलाज के लिए 5.23 लाख रुपये का बिल भी थमा दिया. जब परिजनों ने हंगामा किया, तो बिल में 1,03,210 रुपये की छूट देने का ड्रामा किया गया. हालांकि महला के इलाज के रूप में परिजनों से 4.20 लाख रुपये की अस्पताल द्वारा वसूल कर दी ली गयी.

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चार सितंबर को भर्ती हुई थी कोरोना संक्रमित महिला : परिजनों ने बताया कि कोरोना संक्रमण की पुष्टि होने पर चार सितंबर को मरीज को सैम्फोर्ड अस्पताल में भर्ती कराया गया. बेड चार्ज के रूप में 15,000 रुपये लिये गये, लेकिन दवा के नाम पर अस्पताल ने 2,51,865 रुपये लिये. परिजनों ने कहा कि वह अस्पताल द्वारा मांगे जा रहे पैसे का भुगतान करते रहे.

समय-समय पर दवा व अन्य जरूरतों के लिए पैसे लिये गये. जब लगा कि पैसे देने में सक्षम नहीं हैं, तो मरीज को रिम्स रेफर कराने में जुट गये. रिम्स के क्रिटिकल केयर में एक बेड खाली होने पर मरीज को शिफ्ट कराने की बातचीत की गयी. इसके बाद ही महिला की मौत की सूचना दी गयी.

मौत के बाद बिल्कुल अलग बिल तैयार कर देते हैं अस्पताल : इतना ही नहीं, संक्रमित महिला की मौत के बाद सैम्फोर्ड अस्पताल ने परिजन को दिये बिल में भी बदलाव कर दिया है. परिजनों का आरोप है कि पहले दवा व अन्य मद में लगातार पैसे लिये गये. मरीज की मौत की सूचना देने के बाद परिजन सरकार की गाइडलाइन के हिसाब से बिल तैयार करके दे दिया. बिल में किसी ब्रेकअप की जानकारी नहीं दी गयी. यह नहीं बताया गया कि इलाज के दौरान किस मद में कितने रुपये लिये गये हैं.

संक्रमित के परिवार को पूरी जानकारी दी जा रही थी. सरकार की निर्धारित दर के हिसाब से ही पैसे लिये गये हैं. परिजन आरोप लगाते ही रहते हैं. उनको बिल में छूट भी दी गयी है.

डॉ घनश्याम सिंह, सैम्फोर्ड अस्पताल

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