रांची के प्रमोद ने डिजाइन किया मेंस्ट्रुअल कप, बीआइआरएसी से मिलेगा 50 लाख तक का अनुदान
रांची के प्रमोद ने डिजाइन किया मेंस्ट्रुअल कप, बीआइआरएसी से मिलेगा 50 लाख तक का अनुदान
रांची : रांची के प्रमोद प्रिय रंजन ने महिलाओं के लिए ‘मेंस्ट्रुअल कप केयर’ डिजाइन किया है. इसे महिलाएं सैनिटरी नैपकिन की जगह इस्तेमाल कर सकेंगी. इस डिजाइन के लिए जैव प्रौद्योगिकी उद्योग अनुसंधान साहयता परिषद (बीआइआरएसी) की ओर से 50 लाख रुपये तक का अनुदान मिलेगा. प्रमोद ने बताया कि जनवरी में बायोटेक्नोलॉजी इंग्निशन ग्रांट (बीग) की ओर से आयोजित बायोटेक फंडिंग प्रोग्राम में हिस्सा लिया था. देशभर के 500 से अधिक प्रतिभागियों ने इनोवेटिव आइडिया पेश किया.
अंतिम रूप से चयनित 51 प्रतिभागियों में प्रमोद और उनकी टीम शामिल हुई़ प्रोजेक्ट पूरा करने के लिए मिले 18 महीनेप्रमोद ने बताया कि इस प्रोजेक्ट को पूरा करने के लिए 18 महीने का समय मिलेगा. हालांकि वह इसे एक वर्ष के अंदर पूरा करने की कोशिश करेंगे़ इस दौरान प्रोजेक्ट के विभिन्न चरण में पूरा करने पर उन्हें जरूरत अनुरूप धनराशि मुहैया करायी जायेगी. कॉलेज में सक्रिय एनजीओ से मिला आइडियाएमआइटी पुणे के छात्र रहे प्रमोद कॉलेज के तृतीय वर्ष में थे, जब उन्हें कॉलेज में कार्यरत एनजीओ से जुड़ने का मौका.
उसी दौरान पता चला कि गर्ल्स हॉस्टल में लड़कियों को सैनिटरी नैपकिन के निष्पादन में समस्या होती है. इसके बाद प्रमोद ने सैनिटरी नैपकिन के विकल्प की जानकारी ली. बाजार में उपलब्ध मेंस्ट्रुअल कप की डिजाइन में परिवर्तन करने का सोचा. इसके बाद अपना आइडिया लेकर अटल इंक्यूबेशन सेंटर से जुड़े. वहां प्रमोद के आइडिया की सराहना हुई और डिजाइन पर काम करने के लिए टीम तैयार की गयी.
डिजाइन तैयार करने में लगे 10 महीने जून 2019 में कॉलेज खत्म होने के बाद टीम में शामिल प्रमोद रंजन टीम लीडर, मेंटर धीमंत पांचाल, नचिकेत ठाकुर, रेणु व्यास, डिजाइनर अलोमी के पारिख, श्रेया येंगुल आपस में जुड़कर काम कर रहे थे. इसे 10 माह बाद फाइनल किया. जनवरी में आयोजित बीग स्किम 16 में शामिल होकर सफलता हासिल की.
प्रमोद कहते हैं : टीम सितंबर में प्राथमिक चरण के ट्रायल पर काम करेगी. फिडबैक मिलने के बाद डिजाइन को विकसित करने पर काम किया जायेगा. ताकि मासिक धर्म के समय महिलाएं मेंस्ट्रुअल कप को आसानी से देख और समझ कर इस्तेमाल कर सकेंगी. जरूरत पड़ने पर प्रमोद की टीम वेंचर सेंटर (बीग पार्टनर) – इंक्यूबेशन सेंटर से जुड़ेगी, जहां मेंस्ट्रुअल कप को बेहतर रूप से डिजाइन किया जा सकेगा.
posted by : sameer oraon