झारखंड मॉड्यूल केस में गिरफ्तार राहुल सेन को NIA ने भेजा जेल, धर्म बदल बना उमर, आतंकी गतिविधियों में हुआ शामिल
NIA को जांच में इस बात की भी जानकारी मिली है कि वह सोशल मीडिया के माध्यम से आइएसआइएस के विदेशी आतंकियों के हैंडलर से जुड़ा है. ठोस साक्ष्य जुटाने के लिए एनआइए ने राहुल के पास से मिले मोबाइल और लैपटॉप की जांच शुरू कर दी है.
आतंकी संगठन इस्लामिक स्टेट ऑफ इराक एंड सीरिया (आइएसआइएस) के झारखंड मॉड्यूल केस में रतलाम से गिरफ्तार राहुल सेन को एनआइए की टीम ने शनिवार को सुरक्षा के बीच रांची एनआइए कोर्ट में पेश किया. जहां से उसे न्यायिक हिरासत में होटवार स्थित बिरसा मुंडा केंद्रीय कारा भेज दिया गया है. राहुल सेन रतलाम के खजूरी देवड़ा का रहनेवाला है. एनआइए के अधिकारियों को इस बात की जानकारी मिली है कि राहुल सेन ने कट्टरपंथियों के प्रभाव में आकर मुस्लिम धर्म अपना लिया था. इसके बाद उसका नाम उमर उर्फ उमर बहादुर रखा गया था. आतंकी संगठन आइएसआइएस से जुड़ने, धर्म परिवर्तन करने और सोशल मीडिया के माध्यम से आइएसआइएस की विचारधारा को फैलाने के काम में लगाने के लिए राहुल का कंट्टरपंथियों द्वारा ब्रेनवाश किया गया था.
एनआइए को जांच में इस बात की भी जानकारी मिली है कि वह सोशल मीडिया के माध्यम से आइएसआइएस के विदेशी आतंकियों के हैंडलर से जुड़ा है. ठोस साक्ष्य जुटाने के लिए एनआइए ने राहुल के पास से मिले मोबाइल और लैपटॉप की जांच शुरू कर दी है. मोबाइल और लैपटॉप से डाटा को रिकवर करने के लिए एनआइए इसे सेंट्रल फोरेंसिक लैब भेजेगी. उल्लेखनीय है कि आइएसआइएस के झारखंड मॉड्यूल मामले में 19 जुलाई 2023 को रांची एनआइए ने केस दर्ज किया था.
इस केस में एनआइए की टीम ने लोहरदगा से फैजान अंसारी को गिरफ्तार किया था. उसकी गिरफ्तारी के बाद एनआइए को इस मॉड्यूल और इससे जुड़े लोगों के अलावा आतंकियों की योजना की भी जानकारी एनआइए को मिली थी. इसके बाद एनआइए की टीम ने गुरुवार को बिहार, उत्तरप्रदेश, मध्यप्रदेश, पंजाब, गोवा, कर्नाटक और मुंबई के कुल नौ स्थानों पर छापेमारी की थी. इसी दौरान रतलाम से राहुल सेन को गिरफ्तार किया गया. उसके घर से कई संदिग्ध दस्तावेज मिले थे. शुक्रवार को उसे स्थानीय न्यायालय में प्रस्तुत कर शनिवार को ट्रांजिट रिमांड पर रांची लाया गया है.