चुटिया पावर हाउस के पास ओवरब्रिज बनाने के लिए फिर हो रहा सर्वे, 15 दिन में भेज दी जाएगी रिपोर्ट
चुटिया पावर हाउस रेल फाटक काफी व्यस्त रहता है. लोगों को इस रेल फाटक पर आकर रुकना पड़ता है, क्योंकि रोज इसी लाइन से कम से कम 70 ट्रेनें गुजरती हैं.
रांची : रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव के आदेश के बाद रांची रेल डिविजन ने चुटिया पावर हाउस रेल फाटक पर आरओबी निर्माण के लिए कवायद तेज कर दी है. इंजीनियरिंग विभाग के अधिकारी ने बताया कि सर्वे का काम शुरू कर दिया गया है. इसमें हर पहलू पर अध्ययन किया जा रहा है. पूर्व में हुए सर्वे में आरओबी निर्माण को लेकर 155 घर टूटनेवाले थे, लेकिन फिर दोबारा सर्वे में पाया गया कि 25 घर ही टूटनेवाले हैं. अब अभियंताओं की कोशिश है कि एक भी घर नहीं टूटे और आरओबी का निर्माण हो. अधिकारी ने यह बताया कि रेल मंत्री के आदेश के अनुसार 15 दिनों में रिपोर्ट भेज दी जायेगी.
मालूम हो कि चुटिया पावर हाउस रेल फाटक काफी व्यस्त रहता है. लोगों को इस रेल फाटक पर आकर रुकना पड़ता है, क्योंकि रोज इसी लाइन से कम से कम 70 ट्रेनें गुजरती हैं. इस दौरान कम से कम छह से आठ मिनट के लिए फाटक बंद किया जाता है और वहां लंबा जाम लग जाता है. लोगों का कहना है कि यहां रोज कुल 8-10 घंटे तक फाटक बंद रहता है. इससे चुटिया मोहल्ला, पावर हाउस रोड, पावर हाउस कॉलोनी, रेलवे कॉलोनी, कृष्णापुरी, राजनगर, जगदेव नगर, द्वारकापुरी, अयोध्यापुरी और अन्य मोहल्लों की एक लाख से भी अधिक की आबादी रेलवे क्रॉसिंग से प्रभावित है. यहां से रोज 50 हजार लोगों की आवाजाही होती है. दिन भर काफी समय तक फाटक बंद होने से लोगों को परेशानी होती है.
Also Read: रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव का बड़ा एलान, रांची के इन दो इलाकों में बनेंगे रेलवे ओवर ब्रिज
पूर्व में विवाद के कारण नहीं शुरू हुआ आरओबी का निर्माण :
आरओबी निर्माण की मांग माफी पुरानी है. रेलवे और पथ निर्माण विभाग ने संयुक्त सर्वे कर ओवरब्रिज का डिजाइन भी तैयार किया था. रेल बजट में 64 करोड़ रुपये की मंजूरी मिली थी. लेकिन यह प्रोजेक्ट पावरहाउस रोड के निवासियों के विरोध के बाद लटक गया. दरअसल आरओबी बनने से काफी संख्या में घर अथवा दुकानों को तोड़ना पड़ता. जिससे यहां रहनेवाले लोग उजड़ जाते.