रिम्स निदेशक की नियुक्ति पर विधायक सरयू राय ने उठाया मंत्री बन्ना गुप्ता पर सवाल, सीएम हेमंत सोरेन की ये मांग
सरयू राय ने नियमावली का हवाला देते हुए कहा कि संस्थान के निदेशक पद के लिए न्यूनतम शैक्षणिक योग्यता एवं शैक्षणिक अनुभव वही होंगे, जो किसी चिकित्सा संस्थान के निदेशक के लिए भारतीय चिकित्सा परिषद द्वारा निर्धारित है
निर्दलीय विधायक सरयू राय ने रिम्स के निदेशक की नियुक्ति को लेकर सवाल उठाया है. मंत्री पर नियमावली की अवहेलना का आरोप लगाया है. इस मामले को लेकर श्री राय ने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को पत्र लिखा है. उन्होंने पत्र में कहा है कि राज्य के स्वास्थ्य मंत्री रिम्स की शासी परिषद के पदेन अध्यक्ष होते हैं. इन्होंने मनमाने तरीके से नियुक्ति कर दी है.
श्री राय ने नियमावली का हवाला देते हुए कहा कि संस्थान के निदेशक पद के लिए न्यूनतम शैक्षणिक योग्यता एवं शैक्षणिक अनुभव वही होंगे, जो किसी चिकित्सा संस्थान के निदेशक के लिए भारतीय चिकित्सा परिषद द्वारा निर्धारित है. गैर-चिकित्सीय कार्मिक निदेशक के पद पर नियुक्त नहीं किये जा सकेंगे. निदेशक का पद प्रोन्नति का पद नहीं होगा. यह विज्ञापन द्वारा भरा जायेगा. श्री राय ने नियमावली के अन्य बिंदुओं की ओर भी मुख्यमंत्री का ध्यान दिलाया है.
उन्होंने कहा है कि नियमावली से स्पष्ट है कि रिम्स निदेशक का पद अचानक खाली हो जाने पर रिम्स के वरिष्ठतम प्राध्यापक को इस पद पर नियुक्त किया जायेगा. यह अधिकार रिम्स के शासी निकाय के पदेन अध्यक्ष को है. लेकिन अफसोस की बात है कि संविधान के प्रावधानों का पालन करने की शपथ लेकर मंत्री पद ग्रहण वाले ने ही वरिष्ठ प्राध्यापक को रिम्स का निदेशक नियुक्त नहीं किया.
यह सरासर गलत है. मंत्री पद पर बैठे शख्स द्वारा नियमों का उल्लंघन करने से गलत परंपरा स्थापित होती है. स्वास्थ्य मंत्री के इस गलत निर्णय से भविष्य के लिए एक गलत परंपरा स्थापित होगी. श्री राय ने मुख्यमंत्री से आग्रह किया है कि मंत्री के इस गलत निर्णय को निरस्त किया जाये.