Loading election data...

झारखंड के पूर्व मंत्री सरयू राय की बढ़ी सकती है मुश्किलें, इस मामले में प्राथमिकी दर्ज

Saryu Roy: झारखंड के पूर्व मंत्री सरयू राय पर प्राथमिकी दर्ज कर ली गयी है. उनके खिलाफ पद का दुरुपयोग कर अनुचित लाभ उठाने का आरोप लगा है.

By Prabhat Khabar Digital Desk | September 8, 2024 10:27 AM
an image

रांची : पूर्व खाद्य आपूर्ति सरयू राय (Saryu Roy) सहित अन्य पर अपने पद का दुरुपयोग कर आहार पत्रिका के मुद्रण, प्रकाशन और वितरण की आड़ में अवैध तरीके से 3.38 करोड़ का अनुचित लाभ उठाने के आरोप में अरगोड़ा थाना में प्राथमिकी दर्ज करायी गयी है. इसमें सरयू राय के निजी सहायक सह आहार पत्रिका के कार्यकारी संपादक आनंद कुमार व धनबाद के तत्कालीन प्रखंड आपूर्ति पदाधिकारी सुनील शंकर, बाबा कंप्यूटर्स के मालिक रितेश गुप्ता और जेपीपीएल के निदेशक को नामजद आरोपी बनाया गया है. यह प्राथमिकी एम-3, अरगोड़ा हाउसिंग काॅलोनी निवासी मनोज सिंह ने भारतीय न्याय संहिता, 2023 की धारा 314, 316(2), 316(4), 316(5), 61(2) सहपाठित धारा 3(5) व भ्रष्टाचार निरोधक अधिनियम, 1988 की धारा 7, 11, 12 एवं 13(2) के अंतर्गत दर्ज करायी है.

क्या कहा गया है दर्ज प्राथमिकी में

प्राथमिकी में कहा गया है कि सरयू राय (Saryu Roy) ने आम जनता में अधिकारों के प्रति जागरूकता लाने के नाम पर हर माह खाद्य बुलेटिन आहार की आड़ में अक्तूबर 2017 से मार्च 2019 तक की अवधि में 3,38,26,473/- का भुगतान करवाया. तय मात्रा से काफी कम संख्या में आहार पत्रिका का मुद्रण, प्रकाशन व वितरण हुआ. साथ ही घोटाला कर मामले को दबाने की मंशा से अपने करीबी प्रखंड आपूर्ति पदाधिकारी सुनील शंकर को रिटायर होने से कुछ दिन पहले धनबाद में तैनात किया गया.

आनंद कुमार को बना दिया कार्यकारी संपादक :

प्राथमिकी में कहा गया है कि विभाग के तत्कालीन विभागीय सचिव विनय कुमार चौबे ने 22 सितंबर 2017 को फूड बुलेटिन आहार के मुद्रण, प्रकाशन व वितरण के लिए विशेषज्ञ की सेवाएं लेने की अनुशंसा विभागीय मंत्री सरयू राय से की थी. पर जान बूझकर स्वयं फायदा लेने की मंशा से मंत्री ने 26 सितंबर 2017 को अपने निजी सहायक आनंद कुमार को ही स्वतः बुलेटिन के लिए विशेषज्ञ घोषित कर उन्हें कार्यकारी संपादक के पद पर नियुक्त कर दिया. पुनः एक साजिश के तहत झारखंड प्रिंटर्स प्राइवेट लिमिटेड (जेपीपीएल) को बुलेटिन की छपाई का कार्य आदेश दे दिया गया. ताकि दोनों उसका लाभ उठाते रहे.

पांच एफआइआर का जो हाल हुआ इसका भी वही होगा : सरयू राय

पूर्व मंत्री सरयू राय (Saryu Roy) ने अरगोड़ा थाना में दर्ज एफआइआर पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा : तीन साल में एक विषय पर मेरे खिलाफ छठा एफआइआर दर्ज कराया गया है. इस विषय को लेकर पहले जमशेदपुर के दो लोगों ने एफआइआर कराया था. फिर से एसीबी में मामला दर्ज कराया. हाइकोर्ट में याचिका दायर की. इसके बाद धुर्वा थाना में प्राथमिकी दर्ज करायी. अब अरगोड़ा थाना में एफआइआर दर्ज कराया है. इसका हाल भी वही होगा, जो पिछले पांच एफआइआर का हुआ है. श्री राय कहा कि मंत्री बन्ना गुप्ता ने फाइल पर सरकार से मेरे खिलाफ एफआइआर दर्ज कराने का निर्देश दिया था. इस पर सचिव सहमत नहीं हुए. उन्होंने इस फाइल को कानूनी सलाह के लिए विधि विभाग के पास भेज दिया. इससे परेशान हो कर मंत्री ने मेरे खिलाफ एक और एफआइआर दर्ज कराया है. इसमें चिंता की कोई बात नहीं है.

बाबा कंप्यूटर्स को आठ गुणा ज्यादा दर पर काम

मनोज सिंह ने आरोप लगाया है कि बाबा कम्प्यूटर्स से भी सरयू राय पहले से जुड़े हुए थे. वर्ष 2016 में खाद्य आपूर्ति विभाग द्वारा अनधिकृत रूप से टेलीफोन के माध्यम से लाभुकों तक विभागीय संवाद पहुंचाने के लिए बाबा कम्प्यूटर्स को काम दिया गया था. एक कॉल का रेट 10 पैसा है, लेकिन बाबा कम्प्यूटर्स के माध्यम से एक कॉल का दर 81 पैसा निर्धारित किया गया. इस प्रकार बाबा कम्प्यूटर्स को दिया गया कार्य बाजार मूल्य एवं सरकार द्वारा निर्धारित दर से आठ गुणा अधिक था. जो कि भ्रष्टाचार की श्रेणी में आता है. विभागीय निदेशक ने छह नवंबर 2018 को अवर सचिव को सूचित किया था कि टेलीफोन के आधार पर 298 डीलरों से की गयी पूछताछ के अनुसार 183 राशन डीलरों को नियमित आधार पर खाद्य बुलेटिन नहीं मिल रहा था.

Also Read: Jharkhand Politics: JDU नेता अशोक चौधरी ने की बड़ी घोषणा, जमशेदपुर पूर्वी से एनडीए प्रत्याशी होंगे सरयू राय

Exit mobile version