Jharkhand Chamber: हो-हंगामा के बीच झारखंड चेंबर के पदाधिकारियों का हुआ चयन, जानें कौन-कौन बने अध्यक्ष
झारखंड चेंबर के पदाधिकारियों का चयन कर लिया गया है. इस दौरान काफी हल्ल्ला-हंगामा भी हुआ. झारखंड चेंबर के नये अध्यक्ष किशोर मंत्री बने. इन्होंने 13-8 से राहुल मारु को हराया कर जीत हासिल की. इसके बाद चुने गये सदस्यों को माला पहना कर बधाई दी गयी.
Jharkhand Chamber news: झारखंड चेंबर में 62 साल के इतिहास में पहली बार बड़ा उलटफेर हुआ है. पदाधिकारियों के चयन के लिए बुधवार को सत्र 2022-23 के नवनिर्वाचित कार्यकारिणी समिति के सदस्यों की बैठक आयोजित की गयी. इस दौरान राहुल मारु टीम के चार सदस्यों ने क्रॉस वोटिंग की. इसके बाद किशोर मंत्री ने 13-8 से राहुल मारु को हराया और झारखंड चेंबर के अध्यक्ष चुन लिये गये.
क्रॉस वोटिंग को लेकर काफी हल्ल्ला-हंगामा
डॉ. अभिषेक रामाधीन को महासचिव, आदित्य मल्होत्रा और अमित शर्मा को उपाध्यक्ष चयनित किया गया. रोहित पोद्दार व शैलेश अग्रवाल को सह सचिव और सुनील केडिया को कोषाध्यक्ष चयनित किया गया. पदाधिकारियों के चयन के दौरान क्रॉस वोटिंग को लेकर काफी हल्ल्ला-हंगामा भी हुआ. हालांकि, जल्द ही मामला शांत करा लिया गया. इसके बाद चुने गये सदस्यों को माला पहना कर बधाई दी गयी. सोमवार को आये चुनाव परिणाम में टीम राहुल के 12 व टीम किशोर के नौ प्रत्याशियों ने जीत हासिल की थी.
करने लगे वॉकआउट
जैसे ही किशोर मंत्री को 13 वोट और राहुल मारु को आठ वोट मिला, तो टीम राहुल के सदस्य वॉकआउट करने लगे. इसके पूर्व टीम राहुल ने चुनाव पदाधिकारी से आग्रह किया कि अध्यक्ष पद के लिए हाथ उठा कर वोटिंग करायी जाये. इस पर चुनाव पदाधिकारी ने कहा कि गुप्त मतदान होगा. इसके बाद अन्य पदाधिकारियों का चयन कर लिया गया.
झारखंड चेंबर को राज्यस्तरीय स्वरूप देने का प्रयास
अध्यक्ष किशोर मंत्री ने कहा कि झारखंड चेंबर को राज्यस्तरीय स्वरूप देने का प्रयास करेंगे. एक साल में 1000 नये सदस्यों को जोड़ने, व्यावसायिक मामलों में उत्पन्न विवादों के लिए चेंबर स्तर पर ही समाधान के लिए चेंबर में आर्बिटेशन सेल का गठन करेंगे.
गुप्त मतदान होने से क्रॉस वोटिंग
वहीं, झारखंड चेंबर के सदस्य राहुल मारु ने कहा कि कुछ लोग पद के लिए बारगेनिंग कर रहे थे, लेकिन अनुभव के आधार पर ही मौका दिया जायेगा. गुप्त मतदान होने से क्रॉस वोटिंग हुई. इससे संस्था शर्मसार हुई है. यह दुर्भाग्यपूर्ण घटना है. यह कोई राजनैतिक संस्था नहीं है.