सिम बॉक्स मामले में ओडिशा पुलिस की रांची में रेड, सिम सेटअप बॉक्स समेत कई सामान जब्त

सिम बॉक्स मामले में ओडिशा पुलिस आरोपी राजू मंडल को लेकर रांची पहुंची और उसकी निशानदेही पर छापेमारी की. नामकुम के मौलाना आजाद कॉलोनी से पांच सिम सेटअप बॉक्स समेत कई सामान जब्त किए. यहां सुरक्षा के कड़े प्रबंध किए गए थे.

By Guru Swarup Mishra | August 20, 2024 9:45 PM
an image

नामकुम (रांची), राजेश वर्मा: सिम बॉक्स मामले में स्पेशल स्क्वॉयड एसीपी हिमांशु स्वाई एवं एसीपी केपी मिश्रा के नेतृत्व में दस लोगों की टीम ओडिशा से राजधानी रांची के नामकुम थाना क्षेत्र के मौलाना आजाद कॉलोनी पहुंची. भुवनेश्वर लक्ष्मीसागर थाना क्षेत्र के महादेव नगर से गिरफ्तार राजू मंडल को लेकर पहुंची पुलिस ने नामकुम, लोअर बाजार थाना और खादगढ़ा ओपी पुलिस की सहायता से रोड नंबर-15 स्थित हाजी सुहैल के घर में छापामारी की, जहां राजू मंडल ने भाड़े पर फ्लेट ले रखा था. डीएसपी मुख्यालय प्रथम अमर कुमार पांडेय, तकनीकी शाखा, साइबर सेल के पदाधिकारी भी मौके पर पहुंचे और जांच की. छह घंटे की छापेमारी के बाद पुलिस ने उसके फ्लैट से 5 सिम सेटअप बॉक्स सहित अन्य सामान जब्त किए. शाम सवा सात बजे पुलिस जब्त सामानों का बड़ा थैला, एक सूटकेस, एक पिट्ठू बैग एवं एक इन्वर्टर सेट लेकर ऑटो से बाहर निकली. इसके कुछ देर बाद सुरक्षा घेरे में राजू मंडल को लेकर टीम बाहर निकली एवं अपने साथ ले गयी.

ओडिशा पुलिस ने किया है सिम बॉक्स रैकेट का खुलासा

एसीपी ने बताया कि 16 अगस्त को ओडिशा पुलिस ने सिम बॉक्स रैकेट का खुलासा करते हुए राजू मंडल को गिरफ्तार किया था. पांच दिनों की रिमांड पर पूछताछ करने पर उसने भुवनेश्वर, कटक और रांची में सिम बॉक्स संचालित करने की बात कही. उसकी निशानदेही पर पुलिस ने भुवनेश्वर से सात एवं कटक से पांच सिम सेटअप बॉक्स, दो रिजर्व सिम बॉक्स, सैकड़ों सिम, राउटर सहित अन्य सामान जब्त किया था. राजू मंडल के इनपुट पर पुलिस मौलाना आजाद कॉलोनी पहुंची. बांग्लादेश सहित अंतरराष्ट्रीय कनेक्शन के बारे में एसीपी ने कहा कि अभी मामले की जांच चल रही है. जांच के बाद स्पष्ट हो पाएगा.

मास्टरमाइंड है बांग्लादेशी

राजू मंडल ने पूछताछ में बताया कि पूरे मामले का मास्टरमाइंड अशदुर जमाल है, जो बांग्लादेश का रहने वाला है.

क्या है सिम बॉक्स?

सिम बॉक्स एक तरह का इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस है, जिसे सिम बैंक भी कहा जाता है. यह इंटरनेट बेस्ड एक हार्डवेयर डिवाइस है, जिसका इस्तेमाल टेलीकॉम में डायरेक्ट जीएसएम कम्युनिकेशन को टर्मिनेट करने के लिए किया जाता है. डिवाइस में एक साथ काफी संख्या में सिम कार्ड लगे होते हैं, जिससे इंटरनेशनल कॉल को स्थानीय जीएसएम कॉल में कन्वर्ट किया जा सकता है. इंटरनेशनल कॉल को फर्जी तरीके से स्थानीय नंबर से कन्वर्ट किया जाता है, जिससे फोन रिसीव करने वाले को स्थानीय नंबर लगता है. इससे कॉल करने पर चार्ज कम लगता है. इससे टेलीकॉम इंडस्ट्री को करोड़ों रुपये का नुकसान होता है.

कपड़ा व्यवसाय के लिए 8000 प्रतिमाह किराए पर लिया था फ्लैट

राजू जिस फ्लैट से सिम सेटअप बॉक्स ऑपरेटर करता था, उसे उसने कपड़ा का व्यवसाय करने के लिए 8000 प्रतिमाह किराए पर लिया था. फ़्लैट मालिक यहां नहीं रहता है. एक केयरटेकर के भरोसे फ्लैट है, जिसमें और भी किराएदार रहते हैं. दिसंबर 2023 में अशदुर सिम बॉक्स सेटअप संचालित करने के लिए कटक आया था, जहां से देखकर वह काम करता था.

कड़ी सुरक्षा के थे इंतजाम

रांची पुलिस के द्वारा रोड नंबर-15 स्थित फ्लैट में कड़ी सुरक्षा व्यवस्था की थी. पुलिस मुख्य गेट पर तैनात थी. किसी को भी प्रवेश नहीं करने दे रही थी. दो बजे से देर शाम तक स्थानीय लोगों की भीड़ जुटी रही.

Also Read: kal Bharat Bandh: 21 अगस्त को भारत बंद, झामुमो और झारखंड कांग्रेस ने किया समर्थन

Also Read: जमशेदपुर के सोनारी एयरपोर्ट से उड़ा ट्रेनी विमान लापता, पायलट और ट्रेनी पायलट के साथ विमान का कोई सुराग नहीं

Exit mobile version