ST कैटेगरी से हैं लेकिन झारखंड के नहीं तब भी मिलेगा आरक्षण का लाभ, सुप्रीम कोर्ट ने हाईकोर्ट के आदेश को पलटा

अगर आप एसटी हैं लेकिन झारखंड के नहीं हैं तब भी आपको आरक्षण का लाभ मिलेगा, सुप्रीम कोर्ट ने झारखंड हाइकोर्ट के उस आदेश को रोक लगा दिया जिसमें कहा था कि बिहार के हैं इसलिए आपको आरक्षण का लाभ नहीं मिल सकता.

By Prabhat Khabar News Desk | November 29, 2021 11:58 AM

रांची : कैडर बंटवारे के बाद एसटी कैटेगरी के कर्मी को झारखंड में आरक्षण का लाभ नहीं देने के मामले में दायर एसएलपी पर सुनवाई के बाद सुप्रीम कोर्ट ने झारखंड हाइकोर्ट के आदेश पर रोक लगा दी. साथ ही झारखंड सरकार और जेपीएससी को नोटिस जारी कर जवाब दायर करने का निर्देश दिया.

अगली सुनवाई के लिए सुप्रीम कोर्ट ने 10 दिसंबर की तिथि निर्धारित की. मामले की सुनवाई जस्टिस यूयू ललित व जस्टिस एस रवींद्र भट्ट की खंडपीठ में हुई. प्रार्थी की ओर से अधिवक्ता मनोज टंडन ने पक्ष रखते हुए पंकज कुमार बनाम झारखंड सरकार केस में पारित आदेश का हवाला देते हुए झारखंड हाइकोर्ट के 12 मई 2021 के आदेश को निरस्त करने का आग्रह किया.

प्रार्थी अखिलेश प्रसाद ने एसएलपी दायर कर झारखंड हाइकोर्ट के खंडपीठ के फैसले को चुनौती दी है. हाइकोर्ट ने पूर्व के आदेश देते हुए कहा था कि बिहार के निवासी हैं, इसलिए झारखंड में आरक्षण का लाभ नहीं मिलेगा.

क्या है पूरा मामला :

प्रार्थी अखिलेश प्रसाद एसटी कैटेगरी में को-ऑपरेटिव एक्सटेंशन ऑफिसर के पद पर कार्यरत हैं. बिहार विभाजन के बाद कैडर बंटवारे में झारखंड आये. झारखंड में काम करते रहे. जेपीएससी ने अक्तूबर 2010 में उप समाहर्ता सीमित प्रतियोगिता परीक्षा (विज्ञापन संख्या-9/2010) का आवेदन आमंत्रित किया था. आरक्षित वर्ग में अखिलेश प्रासद ने आवेदन दिया. प्रवेश पत्र मिला. परीक्षा में शामिल हुए. सफल भी हुए.

अंतिम चयनित अभ्यर्थी से अधिक अंक भी प्राप्त किया, लेकिन जेपीएससी ने अखिलेश प्रसाद की अनुशंसा नहीं की और राज्य सरकार ने इस आधार पर नियुक्त नहीं किया कि आप बिहार के निवासी है. आपको झारखंड में आरक्षण का लाभ नहीं मिल सकता है. सरकार के इस निर्णय को झारखंड हाइकोर्ट में उन्होंने चुनौती दी. उनका कहना है कि एसटी कैटेगरी में हैं और हम झारखंड में नौकरी कर रहे हैं, तो हमें यहां आरक्षण का लाभ नहीं मिलेगा, तो कहां मिलेगा.

जस्टिस डॉ एसएन पाठक की अदालत ने 22 सितंबर 2017 को याचिका स्वीकार करते हुए कहा कि आरक्षण का लाभ मिलेगा. प्रार्थी को नियुक्त करने का आदेश दिया. राज्य सरकार व जेपीएससी ने एकल पीठ के आदेश के खिलाफ अपील दायर की. खंडपीठ ने 12 मई 2021 को एकल पीठ के आदेश को खारिज कर दिया. कहा कि बिहार के निवासी हैं, इसलिए झारखंड में आरक्षण का लाभ नहीं मिलेगा.

Posted By : Sameer Oraon

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