सतत विकास के पैमाने पर झारखंड देश में 16वें स्थान पर, केरल अव्वल, जानें किन सेक्टरों में किया जबरदस्त सुधार

एसडीजी की ओवरऑल रैंकिंग में केरल अब भी पहले पायदान पर है. छत्तीसगढ़ 13वें, बिहार 17वें, पश्चिम बंगाल 12वें तथा यूपी 14वें स्थान पर है. झारखंड की स्थिति उद्योग और आधारभूत संरचना में सबसे खराब है

By Prabhat Khabar News Desk | April 1, 2023 3:26 AM

सस्टनेबल डेवलपमेंट गोल (सतत विकास लक्ष्य) में झारखंड पूरे देश में 16वें स्थान पर है. 2021-22 के प्रदर्शन के आधार पर यह रैंकिंग तैयार की गयी है. दिल्ली स्थित संस्था सेंटर फॉर साइंस एंड इनवायरमेंट (सीएसइ) ने इसके विश्लेषण के बाद रिपोर्ट जारी की है. इसमें बताया गया है कि झारखंड ने पिछले साल (2022) 10 सेक्टर में 2021 की तुलना में उल्लेखनीय प्रदर्शन किया है. इन सेक्टरों में सकारात्मक विकास किया है.

वहीं, पांच सेक्टर में प्रदर्शन गिरा है. एसडीजी की ओवरऑल रैंकिंग में केरल अब भी पहले पायदान पर है. छत्तीसगढ़ 13वें, बिहार 17वें, पश्चिम बंगाल 12वें तथा यूपी 14वें स्थान पर है. झारखंड की स्थिति उद्योग और आधारभूत संरचना में सबसे खराब है. राज्य की रैंकिंग मे 33 स्थानों की गिरावट दर्ज की गयी है. गोवा, कर्नाटक, महाराष्ट्र, नॉर्थ ईस्ट के राज्यों के साथ राजस्थान, सिक्किम, तमिलनाडु व उत्तराखंड की स्थिति ही ठीक रही है.

इसके अतिरिक्त पिछले साल की तुलना में शून्य भूख सूचकांक (जीरो हंगर इंडेक्स) में भी झारखंड की रैंकिंग में तीन स्थान की गिरावट हुई है. आर्थिक विकास की गतिविधियों में भी झारखंड पिछले साल की तुलना में 16स्थान पीछे खिसका है. जमीन पर जीवन और पर्यावरण सरंक्षण के लिए किये जाने वाले प्रयास के मामले में भी पिछले साल की तुलना में रैंकिंग में गिरावट हुई है.

स्वास्थ्य और उत्पादन के मामले में स्थिति सुधरी : रिपोर्ट के मुताबिक, स्वास्थ्य के क्षेत्र में पिछले एक साल में उल्लेखनीय काम हुए हैं. एक साल में स्वास्थ्य के लिए तय गोल संख्या तीन में पिछले साल की तुलना में 19 स्थान ऊपर चढ़ा है. इसकी रैंकिंग में सुधार हुई है. यही स्थिति उत्पादन मामले में है. इसमें सकारात्मक बदलाव के साथ 19 स्थान ऊपर चढ़ा है. क्लीन एनर्जी के लिए होनेवाले प्रयास में भी राज्य का सकारात्मक ग्रोथ रहा है. इसके साथ ही इस मामले में होनेवाले प्रयास में राज्य को 27 स्थानों का सुधार हुआ है.

किस सेक्टर में क्या स्थान

1 गरीबी आठ

2 भूख तीन (नकारात्मक)

3 स्वास्थ्य 19

4 गुणवत्ता पूर्ण शिक्षा तीन

5 लैंगिक समानता 17

6 शुद्ध पानी व स्वच्छता 05

7 क्लीन एनर्जी 27

8 आर्थिक विकास 16 (नकारात्मक)

9 उद्योग और आधारभूत 33 (नकारात्मक)

संरचना

10 असमानता में कमी 01

11 नागरिक सुविधा 14

12 उत्पादन और खपत 19

13 क्लाइमेट एक्शन दो (नकारात्मक)

14 जल के नीचे का जीवन शून्य

15 जमीन पर जीवन 28 (नकारात्मक)

16 शांति, न्याय और तीन

मजबूत संस्थान

एक्सपर्ट व्यू (हरिश्वर दयाल)

एसडीजी मामले में सबसे खराब स्थिति उद्योग और आधारभूत संरचना में दिख रही है. असल में इस दिशा में पूर्व में काम हुए हैं, वह ठीक नहीं रहा है. अभी वर्तमान सरकार ने कई ऐसे प्रयास किये हैं, जिसका असर आनेवाले वर्षों में दिखेगा. स्थिति सुधरेगी. इसके अतिरिक्त कई सेक्टर में बहुत अच्छा प्रदर्शन है. स्वास्थ्य के सेक्टर में अच्छा सुधार हुआ है. अब धीरे-धीरे चीजें बदल रही हैं.

क्या है एसडीजी

वर्ष 2015 में संयुक्त राष्ट्र संघ के सदस्य देशों ने 2030 तक विकास का कुछ एजेंडा तय किया था. इसके तहत कुल 17 सेक्टर (गोल) में विकास करने का लक्ष्य रखा गया था. इसको सस्टेनेबल डेवलपमेंट गोल (एसडीजी) कहा गया. इसके आधार पर सभी देशों को अपने-अपने यहां विकास का काम करना है. भारत सरकार ने इसके आधार पर राज्यों के लिए लक्ष्य रखा. राज्यों को नीति आयोग ने एसडीजी के लक्ष्य प्राप्ति की दिशा में काम करने को कहा. भारत सरकार कुल 16 गोल के आधार पर रेटिंग कराती है.

Next Article

Exit mobile version