रांची : दो माह बाद सोमवार को ईद की खुशियों के बीच बिरसा मुंडा एयरपोर्ट का नजारा बदला हुआ था. इसके साथ ही कोरोना के संक्रमण को देखते हुए एयरपोर्ट पर कई तरह के इंतजाम किये गये हैं. एक ओर जहां जांच प्रक्रिया पहले से अलग दिखी, वहीं दूसरी ओर विमान पकड़ने के लिए लोग दो घंटे पूर्व ही पहुंचने लगे थे. सीआइएसएफ के जवानों ने भी लोगों को टच किये बिना उनके टिकट और बोर्डिंग पास की जांच की. सबसे पहले लोगों के बैग व अन्य सामानों को प्रस्थान गेट के सामने सैनिटाइज किया गया. उसके बाद उनके स्वास्थ्य की जांच की गयी.
फिर बोर्डिंग पास और टिकट जांच कराने के बाद अंदर जाने की इजाजत दी गयी. एयर एशिया के पहले विमान से रांची पहुंचे यात्रियों ने बताया कि सुबह 5:15 बजे बेंगलुरु में विमान पर सवार होने के लिए उन्हें रात 2:30 बजे ही एयरपोर्ट पहुंचना पड़ा. सुबह 7:40 में विमान रांची पहुंचा. सीआइएसएफ के एक अधिकारी ने बताया कि लोगों को परेशानी न हो और भीड़ नहीं हो, इसलिए दो विमानों के आगमन और प्रस्थान के बीच समय का अंतर रखा गया है. एयरपोर्ट निदेशक विनोद शर्मा ने बताया कि सभी के सहयोग से पहले दिन का संचालन बेहतर तरीके से हो गया.
स्वच्छता का ख्याल रख रहे टैक्सी ऑपरेटर्स
एयरपोर्ट के बाहर यात्रियों को उनके घर तक पहुंचाने या घर से यात्रियों को लाने के काम में जो टैक्सी ऑपरेटर्स लगे हैं, उन्होंने भी स्वच्छता का पूरा ख्याल रखा. यात्रियों से दूर से बात की और उनके हाथों को सैनिटाइज कराया.
छुट्टी मनाकर लौट जायेंगे बेंगलुरु
बेंगलुरु से रांची आये एक व्यक्ति ने कहा कि वे यहां छुट्टी मनाने आये हैं. लॉकडाउन के बाद पहली बार घर आये हैं. कुछ दिन रह कर बेंगलुुरु लौट जायेंगे. उनका कहना थ कि झारखंड में उन्हें वह काम नहीं मिलेगा, जो वह करते हैं. इसलिए बेंगलुरु जाना मजबूरी है.
घर आकर काफी खुश हूं
इंजीनियर विकास कुमार ने कहा कि घर आकर काफी खुश हूं. उन्होंने कहा कि रास्ते में कहीं कोई परेशानी नहीं हुई और ना ही बेंगलुरु में किसी तरह की कोई दिक्कत हुई.
रात दो बजे ही घर से निकलना पड़ा
बेंगलुरु में रहनेवाले संजय ने कहा कि विमान पकड़ने के लिए रात 2:00 बजे ही घर से निकल गया था. सुबह 5:15 बजे फ्लाइट थी. कहा कि घर आने के लिए ढाई महीने से इंतजार कर रहा था. रांची पहुंचकर काफी खुश हूं.