14 दिन बाद भी नहीं मिला कोकर नाले में बहे उमेश का शव, निराश परिजन पुतला बनाकर सोमवार को करेंगे अंतिम संस्कार
Jharkhand news, Hazaribagh news : रांची के खोरहाटोली पुलिया से बाइक सहित बहे उमेश राणा का शव 14 दिन बाद भी नहीं मिला है. हजारीबाग दारू थाना क्षेत्र स्थित पुनाई पंचायत अंतर्गत जरगा गांव निवासी उमेश राणा के शव की तलाश में उसके परिजन भी काफी दिनों से जुटे हैं, लेकिन सफलता नहीं मिली है. निराश परिजन रविवार को गांव जरगा लौट आये. उमेश का अब तक कोई पता नहीं लगने से परिजनों का रो-रोक बुरा हाल है. 14 दिन बाद भी शव नहीं मिलने से निराश उमेश के परिजन सोमवार (21 सितंबर, 2020) को पुतला बना कर उसका अंतिम संस्कार करेंगे.
Jharkhand news, Hazaribagh news : ईचाक (रामशरण) : रांची के खोरहाटोली पुलिया से बाइक सहित बहे उमेश राणा का शव 14 दिन बाद भी नहीं मिला है. हजारीबाग दारू थाना क्षेत्र स्थित पुनाई पंचायत अंतर्गत जरगा गांव निवासी उमेश राणा के शव की तलाश में उसके परिजन भी काफी दिनों से जुटे हैं, लेकिन सफलता नहीं मिली है. निराश परिजन रविवार को गांव जरगा लौट आये. उमेश का अब तक कोई पता नहीं लगने से परिजनों का रो-रोक बुरा हाल है. 14 दिन बाद भी शव नहीं मिलने से निराश उमेश के परिजन सोमवार (21 सितंबर, 2020) को पुतला बना कर उसका अंतिम संस्कार करेंगे.
कमाऊ बेटा खोने से पूरा परिवार शोक में है. पिता उगन उर्फ रामेश्वर राणा, माता मुंदरी देवी, पत्नी बेबी देवी सहित परिवार के सदस्यों का रो- रोकर बुरा हाल हो गया है. गांव वाले ढांढस बंधा रहे हैं. मृतक उमेश 5 भाइयों में दूसरे नंबर पर था. बड़े भाई नरेश राणा एवं छोटा भाई सिकंदर राणा ने बताया कि सामाजिक रीति- रिवाज के मुताबिक सोमवार (21 सितंबर, 2020) को उमेश का पुतला बना कर उसका अग्नि संस्कार कर श्राद्ध कर्म किया जायेगा.
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पिछले 10 वर्ष से रांची के कोकर महावीर नगर में रहकर बढ़ई का काम रहता था उमेश. 7 सितंबर, 2020 को छोटे भाई राजू राणा को मुंबई के लिए एयरपोर्ट छोड़कर रूम लौटने के क्रम में कोकर नाला में बह गया था. उमेश की खोज में रांची प्रशासन, नगर निगम एवं एनडीआरएफ की टीम लगी थी. वहीं, अन्य संस्था के लोगों ने भी खोजने का काफी प्रयास किया था, लेकिन सफलता नहीं मिली.
घटना के दूसरे दिन यानी 8 सितंबर, 2020 को उमेश की बाईक खोरहाटोली के नाले से कुछ दूर पर मिली, लेकिन उमेश का कोई पता नहीं चला. गुरुवार (10 सितंबर, 2020) को गांव के 30 नौजवान- बुजुर्ग रांची पहुंच कर उमेश की तलाश किये थे. सभी ने खाेरहाटोली नाले के दोनों छोर से लेकर स्वर्णरेखा नदी और आगे तक उमेश की तलाश की गयी. इन लोगों ने नाले में भी उतरकर उमेश की तलाश की, लेकिन कोई सुराग नहीं मिला.
Posted By : Samir Ranjan.