लातेहार में 10 लाख के दो इनामी नक्सलियों ने किया आत्मसमर्पण
झारखंड सरकार की आत्मसमर्पण एवं पुनर्वास नीति ‘नयी दिशा’ से प्रभावित होकर भाकपा माओवादी के दो जोनल कमांडरों ने शुक्रवार को एसपी कार्यालय में पुलिस के समक्ष आत्मसमर्पण कर दिया.
प्रतिनिधि (लातेहार).
झारखंड सरकार की आत्मसमर्पण एवं पुनर्वास नीति ‘नयी दिशा’ से प्रभावित होकर भाकपा माओवादी के दो जोनल कमांडरों ने शुक्रवार को एसपी कार्यालय में पुलिस के समक्ष आत्मसमर्पण कर दिया. इनमें 10-10 लाख के इनामी नीरज सिंह खरवार उर्फ संजय खरवार (आबुन, पांकी, पलामू) और सलमान उर्फ लोकश उर्फ राजकुमार गंझू (बालुमाथ, लातेहार) शामिल हैं. पलामू डीआइजी वाइएस रमेश, उपायुक्त गरिमा सिंह, एसपी अंजनी अंजन, सीआरपीएफ-11 बटालियन के कमांडेंट वेद प्रकाश त्रिपाठी और 214 बटालियन के कमांडेंट केडी जोशी ने पुष्प गुच्छ देकर दोनों को सम्मानित किया. साथ ही दोनों को राज्य सरकार द्वारा घोषित 10-10 लाख रुपये का प्रतीकात्मक चेक प्रदान किया. मौके पर पलामू डीआइजी श्री रमेश ने कहा कि सरकार की आत्मसमर्पण नीति से प्रभावित होकर दो नक्सलियों ने आत्मसमर्पण किया है. इसमें सीआरपीएफ, कोबरा, जगुआर और झारखंड पुलिस की अहम भूमिका रही है. उन्होंने कहा कि लगातार अभियान चलने से प्रमंडल में नक्सली काफी कमजोर हुए हैं. उपायुक्त गरिमा सिंह ने कहा कि सरकार की आत्मसमर्पण नीति से प्रभावित होकर जिन नक्सलियों ने सरेंडर किया है, उन्हें आर्थिक सहायता दी जायेगी. उन्होंने कहा कि लातेहार पुलिस अच्छा कार्य कर रही है. इसी का नतीजा है कि अब तक जिले में 13 नक्सली सरेंडर कर चुके हैं. एसपी अंजनी अंजन ने कहा कि लगातार अभियान के बाद लातेहार जिला अब नक्सल मुक्त होने की राह पर है. जिले में कोई भी ऐसा क्षेत्र नहीं है, जहां नक्सलियों का प्रभाव है. उन्होंने बचे हुए नक्सलियों से मुख्यधारा में लौटने की अपील की. उन्होंने बताया कि नीरज पर जिले के विभिन्न थानाें में 24 और सलमान पर तीन आपराधिक मामले दर्ज हैं. नीरज बूढ़ा पहाड़ क्षेत्र में लंबे समय तक सक्रिय रहा है. उसने कई घटनाओं को अंजाम दिया है. नीरज शीर्ष माओवादी लीडर निशांत, सुधाकरण, सौरभ उर्फ मार्कस के अलावा छोटू खरवार के दस्ते में काम कर चुका है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है