university Teachers promotion case : शिक्षकों की नियुक्ति व प्रोन्नति में विलंब से गवर्नर द्रौपदी मुर्मू गंभीर
द्रौपदी मुर्मू ने कहा है कि विश्वविद्यालय में लंबित नियुक्ति के साथ-साथ शिक्षकों की प्रोन्नति का मामला शीघ्र निबटाया जाये.
रांची : राज्यपाल सह कुलाधिपति द्रौपदी मुर्मू ने कहा है कि विश्वविद्यालय में लंबित नियुक्ति के साथ-साथ शिक्षकों की प्रोन्नति का मामला शीघ्र निबटाया जाये. इसके लिए विवि और जेपीएससी तत्परता एवं सहयोगात्मक भावना के साथ कार्य करें.
राज्यपाल ने जेपीएससी अध्यक्ष अमिताभ चौधरी से कहा कि उन्होंने जिस प्रकार पुलिस सेवा में अपनी विशिष्ट पहचान स्थापित की अौर बीसीसीआइ व जेएससीए में अपने कर्मों से लोगों की सराहना के पात्र बने हैं, उसी प्रकार जेपीएससी में अपने कर्मों से विशिष्ट पहचान स्थापित करें. युवाओं को उनसे अपेक्षाएं हैं. रिक्तियों अौर प्रोन्नति मामले को तेजी से निबटाने का निर्देश दिया.
श्रीमती मुर्मू गुरुवार को राज्य के विवि की शैक्षणिक एवं प्रशासनिक गतिविधियों की वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से समीक्षा कर रही थीं. राज्य सरकार द्वारा संचालित तकनीकी संस्थानों में काफी दिनों से रिक्त पड़े पदों को गंभीरता से लेते हुए शीघ्र नियुक्ति करने व झारखंड रक्षा शक्ति विवि में नियमित पदों पर शीघ्र नियुक्ति के लिए रोस्टर क्लियरेंस कर जेपीएससी को भेजने का निर्देश दिया. उन्होंने जमशेदपुर महिला विवि के लिए कुलपति, कुलसचिव तथा अन्य पदों का सृजन करने का निर्देश दिया, ताकि वहां भी शीघ्र नियुक्ति की जा सके.
एनपीयू के भवन निर्माण की धीमी गति पर जतायी चिंता
उन्होंने सभी विवि से इनफॉरमेशन एंड लाइब्रेरी नेटवर्क के उपयोग करने पर भी चर्चा की. नीलांबर-पीतांबर विवि के भवन निर्माण की धीमी गति पर चिंता प्रकट की. जबकि सेवानिवृत्त शिक्षकों/कर्मचारियों की सेवानिवृत्ति लाभ अौर पेंशन की समीक्षा करते हुए कहा कि सभी को ससमय सेवानिवृत्ति लाभ और पेंशन मिले. इसके लिए सभी विवि तत्परता से कार्य करें.
उन्होंने सभी विवि को महालेखाकार कार्यालय द्वारा अॉडिट कराने का निर्देश दिया. वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में जेपीएससी अध्यक्ष अमिताभ चौधरी, राज्यपाल के प्रधान सचिव सह उच्च व तकनीकी शिक्षा विभाग के प्रधान सचिव शैलेश कुमार सिंह सहित सभी विवि के कुलपति जुड़े हुए थे.
घंटी आधारित शिक्षकों को सम्मानजनक
राशि मिले
राज्यपाल ने कहा कि कोरोना को ध्यान में रखकर विवि/महाविद्यालयों में कार्यरत घंटी आधारित शिक्षकों को एक निश्चित सम्मानजनक राशि देने का प्रावधान किया जाये. उन्होंने सभी विवि के शैक्षणिक कैलेंडर की समीक्षा करते हुए सभी कुलपतियों से विवि में एक ही पाठ्यक्रम, एक समय में परीक्षा अौर परिणाम की पद्धति लागू करने के सुझाव पर चर्चा की. इसके साथ ही विवि के जनजातीय एवं क्षेत्रीय भाषा विभाग द्वारा संचालित विभिन्न विषयों के बारे में अलग-अलग विभाग से संबंधित जानकारी ली.
posted by : sameer oraon