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झारखंड : रांची में बालू घाटों की बंदोबस्ती का रास्ता साफ, जल्द निकलेगा टेंडर, जानें कब से होगा उठाव

रांची में बालू घाटों की सर्वो रिपोर्ट को मंजूरी मिलने के साथ ही जल्द टेंडर निकलने की उम्मीद बढ़ गयी है. पांच साल बाद रांची में बालू घाटों का टेंडर निकलने वाला है. इधर, नदियों से बालू उठाव पर रोक है. इसके कारण राजधानी में ऊंची कीमत पर बालू की बिक्री हो रही है.

रांची, सुनील चौधरी : रांची के सभी बालू घाटों के लिए जिला सर्वेक्षण रिपोर्ट (District Survey Report-DSR) तैयार किया गया था. इसकी मंजूरी स्टेट लेवल इनवायरमेंट इंपैक्टर असेसमेंट अथॉरिटी (सिया) द्वारा दे दी गयी है. इसके साथ ही रांची में बालू घाटों की बंदोबस्ती का रास्ता साफ हो गया है. जेएसएमडीसी द्वारा चयनित माइंस डेवलपर ऑपरेटर (एमडीओ) के बीच रांची के बालू घाटों के लिए वित्तीय टेंडर अगले सप्ताह जारी की जायेगी.

रांची में 2017 से बालू घाटों का नहीं निकला था टेंडर

बता दें कि 2017 से रांची में बालू घाटों की निविदा नहीं हो सकी थी. अब पांच साल बाद निविदा होने जा रही है. बताया गया कि अभी एनजीटी की रोक की वजह से बालू घाटों से बालू की निकासी पर रोक है. यह रोक 25 अक्तूबर तक है. इस दौरान रांची में निविदा, पर्यावरण स्वीकृति, माइन प्लान आदि की प्रक्रिया पूरी कर ली जायेगी, ताकि 15 अक्टूबर के बाद से विधिवत बालू घाटों से बालू की निकासी हो सके.

क्या होता है डीएसआर

सुप्रीम कोर्ट के आदेश के अनुसार जिलों में प्रत्येक खनिजों का सर्वेक्षण रिपोर्ट तैयार करना है. वर्ष 2016 में यह आदेश आया था. इसके बाद वन एवं पर्यावरण मंत्रालय ने पूरे देश में इसे लागू कर सर्वेक्षण रिपोर्ट तैयार करने के बाद ही खनिजों की निविदा करने का आदेश दिया था. बालू घाटों के सर्वेक्षण रिपोर्ट में यह दर्ज होता है कि जिले में कितनी नदियां हैं. किन-किन नदियों पर बालू का जमाव होता है. एक बारिश के बाद कितना जमाव होता है. पुल-पुलिया, वन क्षेत्र आदि के बाबत विस्तृत जानकारी होती है. तब पूरे जिले का सर्वे कर बालू घाटों का डिस्ट्रिक्ट सर्वे रिपोर्ट तैयार किया जाता है. इसकी पर्यावरण स्वीकृति सिया के पास भेज कर ली जाती है. इसमें वन विभाग, बीडीओ, सीओ सबकी मंजूरी लेकर सिया के पास रिपोर्ट जाती है. सिया से मंजूरी मिलने के बाद ही बालू घाटों की बंदोबस्ती की जा सकती है और बालू की निकासी हो सकती है.

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तीन जुलाई को दी गयी मंजूरी

रांची के डीएसआर को स्टेट लेवल इनवायरमेंट इंपैक्टर असेसमेंट अथॉरिटी (सिया) द्वारा तीन जुलाई को मंजूरी दी गयी है. चार जुलाई को सिया द्वारा रांची के डीसी को पत्र भेजकर इसकी सूचना देते हुए कहा गया है कि बालू खनन के लिए डीएसआर की मंजूरी प्रदान की जाती है. इधर, रांची जिला प्रशासन द्वारा बताया गया कि अगले सप्ताह से निविदा की प्रक्रिया पूरी की जायेगी. किसी भी दिन निविदा जारी कर आवेदन मंगाया जायेगा.

बालू की दर 32 हजार प्रति हाइवा

रांची में बालू की कालाबाजारी जारी है. वजह है कि रांची में छह स्टॉकिस्ट के पास ही बालू का स्टॉक है. इसके अलावा ग्रामीण क्षेत्र या पंचायत से भी वैध-अवैध तरीके से रांची में बालू लाया जा रहा है. जानकार बताते हैं कि रात के अंधेरे में रांची के कई घाटों से बालू की निकासी पर रोक के बावजूद बालू निकाला जा रहा है. रांची जिला खनन कार्यालय द्वारा कई जगहों पर अवैध बालू पकड़ा भी गया है. रांची में इन दिनों एक हाइवा (700 सीएफटी) बालू की कीमत 10 हजार रुपये से बढ़कर 32 हजार रुपये हो गयी है. जबकि एक टर्बो ट्रक (100 सीएफटी) बालू की कीमत तीन हजार रुपये से बढ़कर छह हजार रुपये और एक ट्रैक्टर (40 सीएफटी) बालू की कीमत दो हजार से बढ़कर तीन हजार रुपये हो गयी है.

यहां से ले सकते हैं सस्ती दर पर बालू

जेएसएमडीसी ने आम सूचना जारी कर लोगों से कहा है कि आठ जिलों में 14 घाटों के समीप स्टॉकिस्ट लाइसेंस दिया गया है, जहां 50 लाख सीएफटी बालू का स्टॉक है. इनमें खूंटी, गढ़वा, गुमला, सरायकेला, हजारीबाग, कोडरमा, चतरा, देवघर व रांची समेत अन्य जिलों में स्टॉक है. रांची जिले में भी छह स्टॉकिस्ट के बालू का स्टॉक है. जेएसएमडीसी के सैंड पदाधिकारी ने सूचना जारी करते हुए कहा है कि बालू की बुकिंग जेएसएमडीसी डॉट इन पर करायी जा सकती है अथवा प्ले स्टोर से जेएसएमडीसी सैंड कंज्यूमर ऐप डाउनलोड करके भी बुकिंग की जा सकती है. यहां बालू 7.5 रुपये (पांच प्रतिशत जीएसटी अतिरिक्त) प्रति सीएफटी की दर पर उपलब्ध है. बुकिंग कराने में कठिनाई होने पर हेल्प डेस्क नंबर 06512490767 में सुबह छह बजे से चार बजे तक, कृष्ण कुमार से मो नंबर 9060865799 पर सुबह छह बजे से 12 बजे तक तथा सुमन राम से 7480014033 पर दिन के 12 बजे से शाम के चार बजे तक संपर्क किया जा सकता है.

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