विश्व आदिवासी दिवस: रीझ रंग रसिका रैली से झारखंड आदिवासी महोत्सव का शानदार आगाज, मांदर की थाप पर थिरकेंगे पांव
रीझ रंग रसिका रैली से आज इसका शानदार आगाज होगा. दो दिवसीय कार्यक्रम में झारखंड की जनजातीय कला-संस्कृति का अनूठा समागम देखने को मिलेगा. रांची के जेल चौक स्थित भगवान बिरसा मुंडा स्मृति उद्यान सह संग्रहालय में इसका आयोजन किया जा रहा है.
रांची: विश्व आदिवासी दिवस पर झारखंड में नौ व 10 अगस्त को झारखंड आदिवासी महोत्सव-2023 का आयोजन किया जा रहा है. हेमंत सोरेन की सरकार इसे भव्य और यादगार बना रही है. रीझ रंग रसिका रैली से आज इसका शानदार आगाज होगा. दो दिवसीय कार्यक्रम में झारखंड की जनजातीय कला-संस्कृति का अनूठा समागम देखने को मिलेगा. रांची के जेल चौक स्थित भगवान बिरसा मुंडा स्मृति उद्यान सह संग्रहालय में न सिर्फ ट्राइबल फिल्म फेस्टिवल मनाया जा रहा है, बल्कि 72 स्टॉल भी लगेंगे. इनमें जनजातीय समूहों के भी स्टॉल होंगे. फैशन शो होगा. पारंपरिक आदिवासी आभूषणों की प्रदर्शनी लगेगी. आदिवासी व्यंजनों का भी लुत्फ उठा सकेंगे. मोनिका मुंडू की दिलकश आवाज से महोत्सव गूंजेगा.
रीझ रंग रसिका रैली से महोत्सव की शानदार शुरुआत
रीझ रंग रसिका रैली रांची के करमटोली चौक के धुमकुड़िया से दोपहर करीब 12 बजकर 10 मिनट पर निकलेगी और बिरसा मुंडा स्मृति उद्यान तक पहुंचेगी. 32 आदिवासी समूहों द्वारा वाद्ययंत्रों से रांची गुंजायमान होगी. मांदर की थाप पर लोगों के पांव थिरकेंगे. मुख्य अतिथि के रूप में शिबू सोरेन व सीएम हेमंत सोरेन समारोह में मौजूद रहेंगे. झारखंड आदिवासी महोत्सव 2023 पर डाक टिकट का लोकार्पण किया जाएगा. 35 पुस्तकों का लोकार्पण किया जाएगा. 1:45 बजे सीएम हेमंत सोरेन का संबोधन होगा. इसके बाद शिबू सोरेन संबोधित करेंगे. मोनिका मुंडू की दिलकश आवाज भी सुन सकेंगे. पद्मश्री मुकुंद नायक का नागपुरी लोकनृत्य व वर्षा लकड़ा का नागपुरी नृत्य भी देख सकेंगे.
जनजातीय फिल्म फेस्टिवल का आयोजन
विश्व आदिवासी दिवस पर आयोजित झारखंड आदिवासी महोत्सव में ट्राइबल फिल्म फेस्टिवल का आयोजन किया जा रहा है. इसमें अनूठी कहानियों, परंपराओं, संघर्षों, दर्शन और इतिहास को करीब से जानने और समझने का मौका मिलेगा. झारखंड के उभरते फिल्म निर्माताओं को प्रोत्साहन भी मिलेगा. प्रसिद्ध फिल्मकार मेघनाथ कहते हैं कि इस भव्य आयोजन में स्थानीय कलाकारों को प्राथमिकता देना गर्व की बात है.
दिखायी जाएंगी 26 फिल्में
झारखंड आदिवासी महोत्सव 2023 के उपलक्ष्य में दो दिवसीय 9 और 10 अगस्त को जनजातीय फिल्म फेस्टिवल का आयोजन किया जा रहा है. इस फिल्म फेस्टिवल में झारखंड के कई राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय फिल्मकारों की डॉक्यूमेंट्री और शॉर्ट फिल्में दिखायी जाएंगी. आयोजन जेल मोड़ स्थित बिरसा मुंडा संग्रहालय में आयोजन किया जा रहा है. इस फिल्म महोत्सव में 22 फिल्मकारों की 26 फिल्में दिखायी जाएंगी.
नाची से बांची समेत कई फिल्मों का प्रदर्शन
राष्ट्रीय फिल्म अवार्ड से सम्मानित फिल्मकार मेघनाथ और बीजू टोप्पो की फिल्म नाची से बांची और मुंडारी सृष्टिकथा दिखायी जाएगी. श्रीप्रकाश की फिल्म ईर दिखायी जाएगी. निरंजन कुजूर की फिल्म दिबी दुर्गा, पहाड़ा, एडपा काना प्रदर्शित की जाएगी. सेराल मुर्मू की फिल्म सौंधयानि और रावाह का भी प्रदर्शन होगा. फिल्मकार सतीश मुंडा की फिल्म जादूगोड़ा, दीपक बाड़ा की फिल्म अग्ली साइड ऑफ ब्यूटी, रूपेश साहू की फिल्म रैट ट्रैप, प्रबल महतो की फिल्म बरदू और लाखो बोदरा प्रदर्शित की जाएगी. इसी तरह और भी कई फिल्मकारों की फिल्में दिखाई जाएंगी. फिल्म निर्माता दशरथ हांसदा द्वारा निर्मित फूलमुनी, दीपक के बेसरा की मोहोत, निजाम की छैला संधु, अनुज वर्मा की चेरो, एनपीके पुरुषोत्तम की बंधा खेत, प्रियंका पूर्ति की हॉनर्टन रिमिल भी दिखायी जाएगी.
गर्व की बात है ये आयोजन
प्रसिद्ध फिल्मकार मेघनाथ बताते हैं कि 30 साल पहले 1993 में उन्होंने स्व. डॉ राम दयाल मुंडा, संजय बसु मल्लिक समेत अन्य के साथ रांची में आदिवासी दिवस मनाने की शुरुआत की थी. आज बड़ा समारोह हो रहा है. भव्य आयोजन में स्थानीय कलाकारों की सहभागिता खुशी की बात है. गर्व की बात है कि झारखंड सरकार द्वारा विश्व आदिवासी दिवस के मौके पर झारखंड आदिवासी महोत्सव का आयोजन किया जा रहा है. अच्छा लग रहा है कि इसमें झारखंड की कला व संस्कृति को प्राथमिकता दी जा रही है.
कला, संस्कृति के बिखरेंगे अनूठे रंग
झारखंड की राजधानी रांची के भगवान बिरसा मुंडा स्मृति उद्यान सह स्वतंत्रता सेनानी संग्रहालय एक ऐतिहासिक स्थल है. इस पावन धरा पर विश्व आदिवासी दिवस के मौके पर नौ व 10 अगस्त को झारखंड आदिवासी महोत्सव 2023 का भव्य आयोजन किया जा रहा है. कला, संस्कृति के अनुपम संगम स्थल पर आदिवासी आन, बान और शान व गौरवशाली इतिहास दिखेगा. आदिवासियत के अनूठे रंग दिखेंगे.
फैशन शो व आदिवासी व्यंजनों के लगेंगे स्टॉल
नौ एवं 10 अगस्त को झारखंड आदिवासी महोत्सव 2023 में झारखंडी खान-पान, परिधान, फैशन शो, आदिवासी व्यंजन के स्टॉल लगेंगे. विविध जनजातीय सांस्कृतिक संध्या कार्यक्रमों की छटा बिखरेगी. सावन के रिमझिम फुहारों के बीच इस अलौकिक कार्यक्रम को यादगार बनाने के लिए तैयारी जोरों पर है. 9-10 अगस्त को विश्व आदिवासी दिवस के अवसर पर आयोजित होने वाले झारखंड आदिवासी महोत्सव को लेकर भगवान बिरसा मुंडा स्मृति उद्यान सह स्वतंत्रता सेनानी संग्रहालय इतिहास रचने जा रहा है.
पारंपरिक आदिवासी आभूषणों की लगेगी प्रदर्शनी
झारखंड आदिवासी महोत्सव-2023 में पारंपरिक आदिवासी आभूषणों और पलाश ब्रांड के उत्पादों के भी स्टॉल लगाए जाएंगे. जेएसएलपीएस, ग्रामीण विकास विभाग द्वारा स्टॉल लगाकर सखी मंडल की महिलाओं द्वारा निर्मित उत्पादों (पलाश ब्रांड एवं आदिवा ब्रांड) की प्रदर्शनी एवं बिक्री की जायेगी. पलाश ब्रांड के तहत राज्य भर की ग्रामीण महिलाएं खाद्य और गैर-खाद्य उत्पादों के उत्पादन, प्रसंस्करण और विपणन के माध्यम से अपनी आजीविका सुनिश्चित करती हैं.
आदिवासी आभूषणों का ब्रांड अदिवा
अदिवा ब्रांड के तहत पारंपरिक आभूषणों का मूल्यवर्धन कर बाजार में उपलब्ध कराया जा रहा है, ताकि आदिवासी पारंपरिक कला एवं संस्कृति लोगों तक पहुंच सके. आदिवासी महोत्सव में लोक पारंपरिक आदिवासी आभूषणों को देख और खरीद पाएंगे. पलाश के स्टॉल में 30 से ज्यादा उत्पादों की प्रदर्शनी एवं बिक्री की जायेगी. जैसे-शुद्ध शहद, कोल्ड-प्रेस्ड सरसों का तेल, काले गेहूं का आटा, हल्दी, मिर्च पाउडर, रागी का आटा, रसायन-मुक्त साबुन, कुकीज़ आदि.
आजीविका दीदी कैफे में उठायें आदिवासी व्यंजनों का लुत्फ
झारखंड आदिवासी महोत्सव में ‘आजीविका दीदी कैफे’ का भी स्टॉल लगाया जाएगा. इसमें लोग झारखंड के पारंपरिक व्यंजनों जैसे राइस डंबु, मडुवा डंबू, धुस्का घुघनी, मडुआ पकौड़ा, माढ़ जोर, दाल पीठा आदि का लुत्फ उठा सकेंगे.
32 जनजातीय समूहों के 32 स्टॉलों की प्रदर्शनी
झारखंड आदिवासी महोत्सव-2023 में राज्य के 32 जनजातीय समूहों के 32 स्टॉलों की प्रदर्शनी लगायी जायेगी. झारखंड स्टेट लाइवलीहुड प्रमोशन सोसाइटी (जेएसएलपीएस) की ओर से ये स्टॉल लगाये जायेंगे. इसमें राज्य की सभी 32 जनजातियों की कला-संस्कृति की झलक देखने को मिलेगी. इसके साथ ही राष्ट्रीय शहरी आजीविका मिशन के तहत जनजातीय स्वयं सहायता समूह के 05 स्टॉल भी लगाये जायेंगे. 06 स्टॉल कल्याण विभाग एवं 1-1 स्टॉल खादी और झारक्राफ्ट के भी होंगे.
जनकल्याणकारी योजनाओं की भी मिलेगी जानकारी
झारखंड आदिवासी महोत्सव-2023 में लोगों को राज्य सरकार द्वारा चलायी जा रही विभिन्न जनकल्याणकारी योजनाओं की भी जानकारी मिलेगी. इसमें कृषि, कल्याण, ग्रामीण विकास, श्रम, शिक्षा, समाज कल्याण आदि से संबंधित योजनाओं के स्टॉल होंगे. प्रदर्शनी में मुख्यमंत्री पशुधन विकास योजना, फूलो-झानो आशीर्वाद अभियान एवं बिरसा हरित ग्राम अभियान, सारथी योजना, गुरुजी क्रेडिट कार्ड, सर्वंजन पेंशन योजना, सावित्री बाई फुले किशोरी समृद्धि योजना, मुख्यमंत्री रोजगार सृजन योजना, मरांग गोमके जयपाल सिंह मुण्डा ओवरसीज स्कॉलरशिप स्कीम (एमजीओएस) आदि से संबंधित स्टॉल लगाये जायेंगे ताकि लोग योजना की जानकारी के साथ-साथ लाभान्वित होने की प्रक्रिया भी जान पायें.
झारखंड आदिवासी महोत्सव में होंगे ये भी स्टॉल
इसके अलावा जोहारग्राम, जोबरा, ट्राइबल इंडियन चेंबर एंड इंडस्ट्री, चाला अखड़ा खोरहा, लाइव आर्टिसन और डॉ मनीषा उरांव ओपन फील्ड के भी स्टॉल लगाये जायेंगे.
मोनिका मुंडू की जादुई आवाज सुन सकेंगे
झारखंड की स्वर कोकिला कही जाने वालीं मोनिका मुंडू झारखंड आदिवासी महोत्सव में अपनी जादुई स्वर से मंत्रमुग्ध करेंगी. विभिन्न भाषाओं में अपनी पकड़ रखने वाली मोनिका मुंडू ने करीब एक हजार से म्यूजिक एल्बम्स में गाने गाए हैं. 1993 के दशक में शुरू हुआ मोनिका मुंडू का नागपुरी संगीत की दुनिया में स्वर्णिम दौर आज भी जारी है. मोनिका मुंडू ने फोलोरा, नदिया किनारे, न्यारी, हंसा जोड़ी जैसी कई बेहतरीन हिट नागपुरी म्यूजिक एल्बम में अपना स्वर बिखेर चुकीं हैं। इनकी प्रतिभा सिर्फ संगीत तक ही नहीं अपितु अभिनय की दुनिया में भी इन्होंने अपनी एक अलग पहचान बनाई है. झारखंड के महेंद्र सिंह धोनी पर बनी फिल्म एमएस धोनी में इन्होंने किरदार निभाया है. इसके अतरिक्त नागपुरी, बांग्ला, खोरठा, भोजपुरी फ़िल्मों में अपने अभिनय का लोहा मनवाया है. 1992 में झारखंड रत्न, 14 भाषाओं में गीत गा चुकी हैं. हिमानी शिवपुरी के साथ फिलहाल बांग्ला फिल्म की शूटिंग कर रही हैं. वह कहती हैं झारखंड मेरी धड़कन है.
देश की आदिवासी संस्कृति व परंपरा का दिखेगा अनोखा संगम
झारखंड समेत पूरे देश की आदिवासी संस्कृति, परम्परा, वेशभूषा और खानपान का अनोखा संगम 9 एवं 10 अगस्त को आयोजित झारखंड आदिवासी महोत्सव-2023 में देखने को मिलेगा. महोत्सव में अरुणाचल प्रदेश, असम, आंध्रप्रदेश, ओडिसा, राजस्थान के जनजातीय समुदाय के मेहमान अपनी परम्परा और संस्कृति से राज्यवासियों को रूबरू कराएंगे. सांस्कृतिक कार्यक्रम के तहत नागपुरी, सराइकेला छऊ, डोमकच, पायका समेत अन्य नृत्य की प्रस्तुति कलाकारों द्वारा की जाएगी.
विचार-विमर्श और सेमिनार भी
एक ओर जहां लोग सांस्कृतिक कार्यक्रम में शामिल होंगे, वहीं दूसरी ओर आदिवासी भाषा के समक्ष चुनौती और अवसर, आदिवासी युवाओं के लिए उद्यमिता, जनजातीय व्यंजनों का विपणन, कृषि पारिस्थितिकी की प्रासंगिकता और महत्व समेत अन्य मुद्दों पर चर्चा और परिचर्चा का आयोजना होगा. सेमिनार के जरिए आदिवासी इतिहास, मानवशास्त्र, आदिवासी अर्थव्यवस्था- एक वैकल्पिक अर्थव्यवस्था की परिकल्पना, जनजातीय साहित्य-काल्पनिक और गैर-काल्पनिक जैसे विषयों पर लोग अपनी बातों को रखेंगे.
फिल्मों का प्रदर्शन और निकलेगी रीझ रंग रसिका रैली
महोत्सव में 32 ट्राइब्स की रीझ रंग रसिका रैली निकाली जाएगी. ट्राइबल फिल्म फेस्टिवल का भी आयोजन होगा. इसमें पहाड़ा, एड्पा काना, डीबी दुर्गा, बरदु, रवाह, सोंधैयानी, अबुआ पायका, द वॉटरफॉल, बैकस्टेज, सम स्टोरीज अराउंड विचेज, लाको बोदरा, छैला, द अगली साइड ऑफ ऑफ ब्यूटी, बंधा खेत, बठुन्दी, अजतान्त्रिक जैसी फिल्में प्रदर्शित की जाएंगी. इसके अतिरिक्त ड्रोन शो, लेज़र शो, आतिशबाजी और ट्राइबल फैशन शो का भी आयोजन होगा. दो दिनों तक आयोजित इस महोत्सव में 32 स्टॉल जनजातियों के होंगे, जो अलग-अलग आदिवासी समुदाय को रिप्रेजेंट करेंगे. इसके साथ ही विभिन्न विभागों और सरकार की फ्लैगशिप योजनाओं के भी स्टॉल लगाए जायेंगे.
कार्यक्रम को लेकर प्रचार वाहनों को भी किया गया था रवाना
झारखंड आदिवासी महोत्सव को भव्य तरीके से मनाने की तैयारी है. कार्यक्रम के प्रचार-प्रसार के लिए बिरसा मुण्डा स्मृति उद्यान से प्रचार रथ भी रवाना किया गया था.इसके माध्यम से शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों को कार्यक्रम की जानकारी देने के साथ-साथ महोत्सव में उपस्थित होने का आग्रह किया जा रहा है.
विश्व आदिवासी दिवस पर खेलों का आयोजन
झारखंड आदिवासी महोत्सव को लेकर विभिन्न खेलों का भी आयोजन किया जा रहा है. हॉकी व फुटबॉल समेत विभिन्न खेलों का आयोजन किया जाएगा. विजेता टीमों को पुरस्कृत किया जाएगा. इसमें भाग लेने के लिए नियम व शर्तें हैं. आप अगर इन शर्तों को पूरा करते हैं, तो आप इसमें शामिल हो सकते हैं. हॉकी, फुटबॉल, एथलेटिक्स व तीरंदाजी प्रतियोगिता में विजयी टीमें पुरस्कृत की जाएंगी. इन खेलों में भाग लेने के लिए कोई आयु सीमा नहीं है. किसी भी उम्र के खिलाड़ी इसमें भाग ले सकते हैं. रांची समेत राज्य के सभी जिलों में खेल का आयोजन किया जाएगा.
विश्व आदिवासी दिवस पर खेल प्रतियोगिताएं होंगी आयोजित
झारखंड के पर्यटन, कला-संस्कृति खेलकूद एवं युवा कार्य विभाग अंतर्गत खेलकूद एवं युवा कार्य निदेशालय, झारखंड एवं रांची जिला प्रशासन के संयुक्त तत्वावधान में विश्व आदिवासी दिवस पर 9 से 10 अगस्त तक जिला स्तरीय खेल गतिविधियों का आयोजन किया जा रहा है. फुटबॉल व हॉकी प्रतियोगिता में विजेता टीम को 21000 हजार की राशि, उपविजेता टीम को 15000 हजार, तृतीय स्थान के लिए 11000 हजार की राशि पुरस्कार स्वरूप दी जायेगी. इसमें कोई आयु सीमा नहीं है. किसी भी उम्र के खिलाड़ी इसमें भाग ले सकते हैं.